
स्मार्ट सिटी बोर्ड की बैठक, नगर तथा ग्राम निवेश का अभिन्यास भी कम्पनी के नाम से ही होगा मंजूर, मास्टर प्लान की 5 सडक़ों के निर्माण को भी देंगे अनुमति
इंदौर। एमओजी लाइन (MOG Line) स्थित कुक्कुटपालन केंद्र (Poultry farming center) की 68510 स्क्वेयर मीटर जमीन (land ) इंदौर स्मार्ट सिटी (Smart City) डेवलपमेंट लिमिटेड ने लगभग 455 करोड़ (455 crores) रुपए में टेंडर के जरिए बेची है। अब आज होने वाली बोर्ड बैठक में इसकी मंजूरी दी जाएगी। अग्रिबाण ने ही इंदौर (Indore) के इस सबसे बड़े जमीनी सौदे का खुलासा पिछले दिनों किया था। कलेक्टर आशीष सिंह के मुताबिक जमीन बिक्रीसे मिलने वाली राशि से शहर की पांच मास्टर प्लान की प्रमुख सडक़ों के निर्माण के साथ अन्य विकास कार्य करवाए जाएंगे। उसकी भी मंजूरी आज की बैठक में देंगे। टेंडर शर्त के मुताबिक 8 किस्तों में इस जमीन का पैसा लिया जाएगा और अगर खरीदार फर्म को प्रोजेक्ट के लिए अभिन्यास मंजूर करवाना पड़ा तो वह भी नगर तथा ग्राम निवेश से स्मार्ट सिटी के नाम से ही मंजूर होगा।
स्मार्ट सिटी के तहत राजबाड़ा से लेकर एमओजी लाइन क्षेत्र में कई प्रोजेक्ट लाए गए, जिनमें 11 बड़े आवासीय सहवाणिज्यिक उपयोग के भूखंडों को भी टेंडर के जरिए बेचा जा रहा है, जिनमें से अभी 4 भूखंड बिक भी गए हैं। उसके अलावा कुक्कुटपालन केंद्र की लगभग 17 एकड़ जमीन, जो 7 लाख स्क्वेयर फीट से अधिक होती है, उसे भी बेचने के टेंडर जारी किए गए। पहली बार के टेंडर में तो कोई प्रस्ताव नहीं मिला, मगर उसके बाद बुलाए टेंडर में तीन फर्मों ने हिस्सा लिया, जिनमें विजय बाबूलाल जैन रियल इस्टेट, वीसी प्रोजेक्ट एंड इन्फ्रा प्रालि और तीर्थ गोपीकॉन लिमिटेड शामिल रहीं। इसमें सबसे ऊंची बोली तीर्थ गोपीकॉन लिमिटेड ने 454 करोड़ 54 लाख 54 हजार 545 रुपए की लगाई। आज 11 बजे से स्मार्ट सिटी बोर्ड बैठक आयोजित की गई है, जिसमें अन्य प्रस्तावों के साथ कुक्कुटपालन केंद्र की जमीन पर मिले टेंडरों पर भी निर्णय लिया जाना है। इसमें सबसे ऊंची बोली चूंकि तीर्थ गोपीकॉन लिमिटेड की है, जिसे मंजूरी दी जाएगी। मौजूदा कलेक्टर गाइडलाइन के मुताबिक 66 हजार रुपए प्रति स्क्वेयर मीटर की जो दर निर्धारित की गई थी, लगभग उसी दर पर यह टेंडर प्राप्त हुआ है। हालांकि जमीनी जानकारों का कहना है कि आवासीय सहवाणिज्यिक उपयोग की यह जमीन बाजार दर से कम कीमत पर बिकी है। चूंकि पूरी राशि एक नंबर में देना है, इसलिए रियल इस्टेट से जुड़े कई समूह चाहकर भी इस जमीन के टेंडर में हिस्सा नहीं ले पाए और एक हजार करोड़ रुपए से अधिक का प्रोजेक्ट इस पर आसानी से लाया जा सकेगा और भूखंड काटकर ही बेचे जाएं तो 10 हजार रुपए प्रति स्क्वेयर फीट का भाव मिल जाएगा। दूसरी तरफ एकमुश्त राशि भी नहीं चुकाना है, बल्कि 8 किस्तों में स्मार्ट सिटी यह राशि लेगी।
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