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पूर्व मुख्यमंत्री जगदीश शेट्टार को हराने की जिम्मेदारी बी.एस. येदियुरप्पा को सौंपी भाजपा ने


बेंगलुरु । पूर्व मुख्यमंत्री (Former Chief Minister) जगदीश शेट्टार (Jagadish Shettar) को हराने की जिम्मेदारी (Responsibility of Defeating) भाजपा (BJP) ने पूर्व मुख्यमंत्री (Former Chief Minister) बी.एस. येदियुरप्पा (B.S. Yediyurappa) को सौंपी (Handed Over) ।


शेट्टार के भाजपा छोड़कर कांग्रेस में जाने और विचारधारा को लेकर भाजपा पर उनके हमलों से कर्नाटक विधानसभा चुनाव में सारा फोकस उनके ऊपर आ गया है। भाजपा की राज्य इकाई और आलाकमान ने शेट्टार को उनके घर में हराकर दलबदलुओं और पार्टी के फरमान को न मानने वालों को कड़ा संदेश देने की ठान ली है। पार्टी सूत्रों ने कहा कि शेट्टार की हार सुनिश्चित करने के लिए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह खुद पूरी रणनीति बना रहे हैं।

येदियुरप्पा ने कहा था कि वह खून से लिखकर देंगे कि शेट्टार की हार होने वाली है। इसके जवाब में शेट्टार के एक समर्थक ने खून से लिखा था कि वह किसी भी कीमत पर जीतेंगे। शेट्टार ने खुद उसके घर जाकर उससे मुलाकात की। मुलाकात की तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हो गई हैं। अमित शाह ने हुबली में पार्टी नेताओं के साथ कई बैठकें की और जोर देकर कहा कि शेट्टार की हार होनी चाहिए। येदियुरप्पा ने घोषणा की है कि भाजपा शेट्टार को हरा देगी और भव्य समारोह आयोजित करेगी।

जगदीश शेट्टार सातवीं बार हुबली-धारवाड़ केंद्रीय निर्वाचन क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे हैं। वह छह बार यहां से जीत चुके हैं। इस बार भाजपा ने उन्हें टिकट नहीं दिया तो वह अपने अपमान का दावा करते हुए कांग्रेस में शामिल हो गए। उन्होंने आरोप लगाया कि पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव बी.एल. संतोष उनके पार्टी छोड़ने के लिए जिम्मेवार हैं। उन्होंने कहा कि भाजपा में लिंगायत नेतृत्व को खत्म करने की कोशिश की जा रही है।

शेट्टार के बयानों से पार्टी को हुए नुकसान की भरपाई के लिए खुद अमित शाह ने सफाई दी और बताया कि कैसे भाजपा लिंगायतों के साथ खड़ी है और समुदाय के नेताओं को मान दिया है। भाजपा की आक्रामक रणनीति पर टिप्पणी करते हुए शेट्टार ने कहा, मैं बड़पाई (कमजोर) शेट्टार हूं, लेकिन भाजपा मेरी हार सुनिश्चित करने के लिए मेरे खिलाफ अभियान चला रही है। आखिरकार 10 मई को फैसला मई को जनता की अदालत में होगा। शेट्टार ने दावा किया कि येदियुरप्पा असहाय होकर उनके खिलाफ अभियान चला रहे हैं। उन्होंने कहा, एक लिंगायत नेता को राज्य में दूसरे लिंगायत नेता के खिलाफ खड़ा किया जा रहा है। किसी और के कंधे पर बंदूक रखकर गोली चलाई जा रही है।

सूत्रों ने कहा कि अगर शेट्टार निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ते तो उनके लिए यह आसान होता। मतदाताओं को हिंदुत्व विचारधारा की घुट्टी पिलाई जा रही है। दूसरी तरफ मुस्लिम मतदाताओं की एक बड़ी संख्या (42,000) हिंदू वोटों का ध्रुवीकरण करेगी। शेट्टार को लिंगायत समुदाय का समर्थन है, लेकिन उन्होंने इलाके में विकास के काम नहीं किए हैं। मुख्यमंत्री के अपने कार्यकाल के दौरान भी शेट्टार अपने निर्वाचन क्षेत्र के विकास में विफल रहे। हालांकि सूत्रों का कहना है कि भाजपा के बड़े नेताओं द्वारा उन पर किए गए हमलों ने उनके प्रति सहानुभूति पैदा की है।

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