
नई दिल्ली। झारखंड में राजनीतिक (politics in jharkhand) अस्थिरता गहराने के संकेत हैं। रिपोर्ट्स के मुताबिक हेमंत सोरेन (Hemant Soren) के इस्तीफे के बाद विधायकों को तोड़ने की कोशिशें (Attempts to break the MLAs) हो सकती हैं। भाजपा के प्रलोभन से बचाने के लिए विधायकों को झारखंड (Jharkhand) से बाहर भेजने की तैयारी किए जाने की खबरें सामने आई हैं। समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक सूत्रों ने बताया है कि झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के विधायकों के साथ-साथ गठबंधन में शामिल कांग्रेस और राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के विधायकों पर भाजपा की नजरें हैं। गठबंधन में शामिल विधायकों को पार्टी के प्रलोभन से बचाने के लिए विधायकों को झारखंड से बाहर किसी सुरक्षित जगह पर भेजने की कवायद हो रही है।
गुरुवार शाम आई समाचार एजेंसी ANI की रिपोर्ट के मुताबिक विधायकों को सर्किट हाउस से शिफ्ट किया जा रहा है। रिपोर्ट के मुताबिक बस में झामुमो विधायकों के अलावा गठबंधन सरकार में शामिल दलों के सभी नेता सवार हैं। विधायकों ने सर्किट हाउस से बाहर मौजूद मीडियाकर्मियों के किसी सवाल का जवाब नहीं दिया। झामुमो विधायक दल के नेता चंपई सोरेन का दावा है कि उनके पास 43 विधायकों का समर्थन है। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक विधायकों के लिए एयरपोर्ट पर दो चार्टड विमान तैयार हैं।
झारखंड के सत्तारूढ़ विधायकों को कांग्रेस शासित प्रदेश हैदराबाद भेजा जा रहा है। इससे पहले पीटीआई ने सूत्रों के हवाले से बताया था कि खरीद-फरोख्त की किसी भी संभावना को नाकाम करने और विधायकों को एकजुट रखने के प्रयासों के तहत विधायकों को झारखंड से दूसरी जगह भेजा जा रहा है। सूत्रों ने कहा, हमारे विधायकों को हैदराबाद भेजने के लिए दो चार्टर्ड विमान – एक 12 सीटों वाला और दूसरा 37 सीटों वाला – बुक किया गया है। रांची एयरपोर्ट पहुंचे नेताओं में विधायक दल के नेता चंपई सोरेन भी शामिल हैं।
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