
नई दिल्ली। आजकल महिलाओं (Women) में इनफर्टिलिटी की समस्या (Infertility problem) तेजी से बढ़ रही है। जिसका कारण गलत खानपान (Wrong eating habits), लाइफस्टाइल (Lifestyle) और जरूरत से ज्यादा स्ट्रेस (Excessive stress.) है। वहीं ज्यादा उम्र में शादी और फिर बच्चे की देर से प्लानिंग भी कई बार जिम्मेदार होती है। ऐसे में जरूरी है ये जानना कि शरीर में वो कौन सी समस्या है जो मुख्य रूप से इंफर्टिलिटी के लिए जिम्मेदार है। अगर कंसीव होने में देर हो रही है और शरीर में इस तरह के लक्षण दिख रहे हैं तो समझ जाएं कि इंफर्टिलिटी की प्रॉब्लम है।
कोल्ड यूट्रस
जब यूट्रस में ब्लड का फ्लो ठीक से नहीं होता है तो कोल्ड यूट्रस (Cold uterus) होता है। जिसकी वजह से एग्स और स्पर्म का मिलना भी कठिन हो जाता है। यहां तक कि कोल्ड यूट्रस की वजह से फर्टिलाइज्ड हो चुके एग्स भी यूट्रस में टिक नहीं पाते हैं। जिसकी वजह से कंसीव होने में समस्या होती है।
कोल्ड यूट्रस की समस्या होने पर शरीर में ये लक्षण दिखते हैं।
पीरियड्स के दौरान होने वाले क्रैम्प जिसमें गर्म चीज की सिंकाई से राहत मिलती है। इसका मतलब है कि कोल्ड यूटरस की समस्या है।
– हाथ-पांव बेहद ठंडे होना खासतौर पर पीरियड् के दौरान
– पीरियड्स ब्लड का गाढ़ा कलर लेकिन बेहद लाइट फ्लो
– इसके अलावा अनियमित पीरियड्स भी कोल्ड यूट्रस का ही एक लक्षण है।
कैसे दूर करें कोल्ड यूट्रस की समस्या
– गर्म पानी पिएं
– पैरों को गर्म रखने की कोशिश करें
– अदरक और दालचीनी की चाय पिएं
– साथ ही ठंडी ड्रिंक्स से दूर रहें
– ठंडे फूड्स ना खाएं
– नंगे पाव ना रहे।
स्ट्रेस
इंफर्टिलिटी के लिए स्ट्रेस एक बड़ा कारण होता है। जिसकी वजह से शरीर की एनर्जी लो होती है और इंफर्टिलिटी की समस्या होती है। महिलाओं में इंफर्टिलिटी से जुड़े स्ट्रेस के ये लक्षण दिखते हैं।
चिड़चिड़ापन
– प्री मेनोपॉजल लक्षण यानी पीएमएस
मूड स्विंग
– बहुत जल्दी फ्रस्टेट हो जाना
चेस्ट में भारीपन
– ब्रेस्ट टेंडरनेस
– पीरियड्स के आसपास सिर में दर्द
किडनी की खराबी
– अगर किडनी खराब है तो भी प्रेग्नेंट होने में दिक्कत होती है। और शरीर में ये लक्षण दिखते हैं
– पीरियड्स के दौरान कमर के निचले हिस्से में दर्द
– पैरों में दर्द
– बार-बार मिसकैरेज
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