मुंबई। बॉलीबुड अभिनेत्री करिश्मा कपूर (Karisma Kapoor) के बच्चों, समायरा और कियान ने अपने दिवंगत पिता संजय कपूर (Sanjay Kapoor)की लगभग 30,000 करोड़ रुपये की संपत्ति में हिस्सेदारी के लिए यह कानूनी कदम उठाया है। याचिका में दावा किया गया है कि न तो संजय कपूर (Karisma Kapoor) ने कभी अपनी वसीयत का जिक्र किया और न ही उनकी सौतेली मां प्रिया कपूर (Priya Kapoor) या किसी अन्य व्यक्ति ने इसके अस्तित्व की जानकारी दी।
करिश्मा कपूर के बच्चों, समायरा और कियान ने अपने पिता की लगभग 30,000 करोड़ रुपये की संपत्ति में हिस्सेदारी के लिए यह कानूनी कदम उठाया है। याचिका में कहा गया है कि प्रिया कपूर ने पहले दावा किया था कि संजय कपूर की सारी संपत्ति आर.के. फैमिली ट्रस्ट के तहत है, लेकिन बाद में उन्होंने 21 मार्च 2025 की तारीख वाली एक वसीयत पेश की, जिसे बच्चों ने संदिग्ध और जाली बताया है।
कोर्ट से की संपत्ति के बंटवारे की मांग
याचिकाकर्ताओं ने कोर्ट से मांग की है कि संजय कपूर की संपत्ति का बंटवारा किया जाए, सभी संपत्तियों का हिसाब दिया जाए और जब तक मामला सुलझ नहीं जाता, तब तक प्रतिवादियों को संपत्ति से संबंधित किसी भी कार्रवाई से रोका जाए। इस मामले में प्रिया कपूर, उनके नाबालिग बेटे, संजय की मां रानी कपूर, और वसीयत की कथित निष्पादक श्रद्धा सुरी मारवाह को प्रतिवादी बनाया गया है।
2015 में संजय कपूर ने अपने हाथ में ली थी कंपनी की कमान
दिवंगत संजय कपूर सोना कॉमस्टार के नॉन एक्जीक्यूटिव प्रेसीडेंट थे। साल 2015 में पिता के निधन के बाद संजय कपूर ने ही कमान अपने हाथ में ली। 2016 में करिश्मा कपूर से तलाक के बाद संजय ने उन्हें मुंबई का घर, बच्चों के लिए 14 करोड़ रुपये के बॉन्ड्स कथित तौर पर दिए। रिपोर्ट्स के मुताबिक तलाक के बाद करिश्मा कपूर को 70 से 100 करोड़ रुपये करीब एलिमनी भी दी गई।
2017 में संजय की लाइफ में आईं प्रिया
2017 में संजय कपूर ने प्रिया से शादी रचाई, जिनसे उनका बेटा अजैरियस है। करिश्मा कपूर के बच्चों ने सौतेली मां प्रिया पर ही कथित तौर पर फर्जी वसीयत पेश करने का आरोप लगाते हुए अपना हिस्सा मांगा है।
संजय कपूर की मां ने भी लगाए हैं आरोप, किया यह दावा
इस पूरे मामले में बात सिर्फ संजय कपूर की दूसरी पत्नी प्रिया और उनके बेटे तक सीमित नहीं हैं। एक और शख्स हैं, संजय कपूर की मां रानी कपूर। उनका दावा एकदम अलग है। रिपोर्ट्स के मुताबिक रानी ने जुलाई में कंपनी बोर्ड को चिट्ठी लिखी और इसमें अपने बेटे की मौत को असामान्य बताते हुए एजीएम टालने की बात कही। साथ ही उन्होंने यह आरोप भी लगाया कि उनसे जबर्दस्ती डाक्यूमेंट्स साइन कराए गए। साथ ही उन्होंने दावा किया कि अपने पति की वसीयत की वे इकलौती लाभार्थी हैं।
श्रद्धा सुरी ने किया था वसीयत का खुलासा
चौथा नाम श्रद्धा सुरी का है, जो संजय कपूर की सहयोगी रहीं। उन्होंने ही संजय कपूर की इस कथित वसीयत का खुलासा जुलाई में किया। करिश्मा कपूर के बच्चों ने हाईकोर्ट में दायर याचिका में कहा है कि वसीयत के दस्तावेज को इतनी तेजी में दिखाया गया कि उन्हें ठीक से पढ़ा और देखा नहीं जा सका। इसके अलावा करीब सात हफ्तों तक वसीयत छिपाए रखने का आरोप भी श्रद्धा पर है।
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