
इंदौर। भगवान महावीर के निर्वाण महोत्सव को हर्षोल्लास से आज सुबह जैन मंदिरों में मनाया गया। श्वेतांबर जैन परिवारों ने आज मंदिर में विशेष आराधना की। इमली बाजार स्थित महावीर भवन में 36वें श्रुत अध्याय का पाठ किया गया, वहीं उपस्थित मुनि महाराज ने मंगल पाठ किया और चार दिन की मौन साधना के बाद समाज में भगवान महावीर द्वारा पढ़ी गई अंतिम देशना के विषय में विचार रखें।
भगवान महावीर ने निर्वाण प्राप्ति के लिए 36वें अध्याय की आराधना की और केवल ज्ञान की प्राप्ति की। इसी अध्याय के माध्यम से समाज भी अपना परभव संवार सकता है। उन्होंने निर्वाण प्राप्ति के पहले जो अंतिम देशना समाज को दी थी, वह आज भी पथ प्रदर्शन का काम कर रही है । यह बात श्रुत मुनि महाराज ने कही।
उन्होंने तप की महिमा का बखान किया। निर्वाण महोत्सव के दौरान श्री वर्धमान स्थानकवासी जैन श्रावक संघ ट्रस्ट एवं आनंद तीर्थ के तत्वावधान में भगवान महावीर निर्माण एवं गौतम प्रतिपदा का कार्यक्रम श्रुत मुनि, तपस्वी राज अक्षर मुनि महाराज व सेवा भाभी मधुर मुनि महाराज के सान्निध्य में महावीर भवन इमली बाजार में विशेष कार्यक्रम आयोजित किया गया। इस अवसर पर बड़ी संख्या में समाजजन भाग लिया। इस अवसर पर मेवे की प्रभावना वितरित की गई। समाजजनों ने बताया कि उपाध्याय प्रवर प्रवीण मुनि महाराज की मंगल प्रेरणा से 25 वर्षों से उत्तर ध्यान सूत्र का कार्यक्रम निरंतर चल रहा है। इस अवसर पर रमेश भंडारी, प्रकाश भटेवरा, दीपक ठाकुरिया, अशोक मंडलिक, गजेंद्र बुढ़ाना, सुमित छजलानी, वसंत जैन, हेमंत बोहरा, सुनीता छजलानी, पुष्पा डागरिया और अभय छेलावत मौजूद थे।
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