
डेस्क: अमेरिका (America) के डेमोक्रेटिक नेता ममदानी (Zohran Mamdani) इस समय सुर्खियों में बने हुए हैं. इसी बीच उनके एक बयान पर अब अमेरिकी उपराष्ट्रपति जे.डी. वेंस (J.D. Vance) ने पलटवार किया है. ममदानी ने 9/11 का जिक्र करते हुए कहा था कि उनकी आंटी ने 9/11 हमलों के बाद हिजाब (Hijab) पहनकर खुद को सुरक्षित महसूस न करने के कारण मेट्रो (सबवे) में सफर करना बंद कर दिया था. उनके इसी बयान पर तंज कसते हुए जे.डी. वेंस ने कहा, ममदानी के अनुसार 9/11 की असली पीड़िता उनकी आंटी थीं, जिन्हें (कथित तौर पर) कुछ लोगों ने बुरी नजरों से देखा था.
ममदानी, जो न्यूयॉर्क सिटी के मेयर पद के लिए डेमोक्रेटिक उम्मीदवार हैं, उन्होंने यह बयान उस समय दिया जब वो न्यूयॉर्क के मुस्लिम समुदाय द्वारा झेले जाने वाले अपमानों के बारे में बात कर रहे थे. ब्रॉन्क्स की एक मस्जिद के बाहर मुस्लिम नेताओं से घिरे हुए, उन्होंने कहा, मैं अपनी आंटी की याद में बोलना चाहता हूं, जिन्होंने 11 सितंबर के बाद सबवे लेना बंद कर दिया क्योंकि उन्हें अपने हिजाब में सुरक्षित महसूस नहीं होता था.
उन्होंने यह भी बताया कि जब वो राजनीति में आए, तो उन्हें अपनी धार्मिक पहचान को छिपाने की सलाह दी गई थी. ममदानी ने कहा, ये वो सबक हैं जो बहुत से मुस्लिम न्यूयॉर्कवासियों को सिखाए गए हैं. पिछले कुछ दिनों में, यही सबक एंड्र्यू क्युओमो, कर्टिस स्लिवा और एरिक एडम्स के समापन संदेश बन गए हैं.
कर्टिस स्लिवा और एंड्र्यू क्युओमो न्यूयॉर्क मेयर चुनाव में ममदानी के खिलाफ चुनाव लड़ रहे हैं. स्लिवा रिपब्लिकन उम्मीदवार हैं, जबकि क्युओमो बतौर स्वतंत्र उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं. मौजूदा मेयर एरिक एडम्स ने इस बार चुनाव नहीं लड़ने का फैसला किया है. चुनावी अभियान के दौरान, तीनों नेताओं ने ममदानी पर कट्टरपंथी होने का आरोप लगाया है. लेकिन, पिछले कुछ हफ्तों में उनके राजनीतिक हमले इस्लामोफोबिया (इस्लाम के प्रति घृणा) की दिशा में मुड़ गए हैं, ऐसा कई डेमोक्रेट नेताओं का कहना है.
हाल ही में एंड्र्यू क्युओमो एक रूढ़िवादी रेडियो स्टेशन पर दिखाई दिए, जहां होस्ट ने मजाक में कहा कि ममदानी एक और 9/11 हमले पर खुश होंगे. क्युओमो इस टिप्पणी पर हंसते नजर आए. बाद में उनके प्रवक्ता ने कहा कि वो होस्ट की बात से सहमत नहीं थे, जैसा कि एसोसिएटेड प्रेस ने रिपोर्ट किया. वहीं, मेयर एरिक एडम्स ने हाल ही में कहा, न्यूयॉर्क यूरोप नहीं बन सकता. मुझे नहीं पता लोगों को क्या हो गया है. आप देखिए, दूसरे देशों में इस्लामी उग्रवाद के कारण क्या हो रहा है.
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