
नई दिल्ली । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने कहा कि कांग्रेस में युवा सांसदों को (Young MPs in Congress) संसद में बोलने का अवसर नहीं दिया जाता (Are not given the opportunity to Speak in Parliament) । यह बात कई युवा सांसदों ने खुद उन्हें बताई है।
प्रधानमंत्री मोदी सूरत में एक कार्यक्रम के दौरान जनसमूह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने बताया, “कांग्रेस का पूरा युवा वर्ग, जो पहली बार संसद आया है, वह अपने भविष्य को लेकर चिंतित है। जब कांग्रेस और इंडी अलायंस के युवा सांसद मिलते हैं तो वे कहते हैं कि हम क्या कर सकते हैं? हमारा करियर खत्म हो रहा है। हमें संसद में बोलने का मौका भी नहीं मिलता। हर बार यही कहा जाता है कि संसद को ताला लगा दो।” पीएम मोदी ने कहा, “ऐसे युवा सांसद अपने क्षेत्रों में जवाब नहीं दे पा रहे हैं। वे कहते हैं कि जब अपने क्षेत्रों के विषय को संसद में नहीं उठा पाएंगे तो दोबारा कौन मौका देगा। ऐसे में हमारी जिम्मेदारी और बढ़ जाती है। हमें विकास की नई ऊंचाइयों को पार करना है।”
सीपीआई(एम) के राज्यसभा सदस्य जॉन ब्रिटास ने भी संसद के अंदर की स्थिति को लेकर खुलासा किया था। केरल से आने वाले सांसद जॉन ब्रिटास ने स्वीकार किया था कि राहुल गांधी ने उन्हें संसद को बाधित करने के लिए कहा और उन्हें बोलने से रोका। मई 2025 में एक पॉडकास्ट में जॉन ब्रिटास ने कथित तौर पर कहा कि उन्होंने ‘इंडिया’ गठबंधन की बैठकों में राहुल गांधी से अनुरोध किया था कि वे संसद में रोजाना व्यवधान न डालें, क्योंकि वे केरल से जुड़े मुद्दे उठाना चाहते थे। कई सांसदों ने इस बात का समर्थन किया था, लेकिन राहुल गांधी ने इनकार कर दिया।”
उन्होंने कहा, “मैं एक मीटिंग में उनके रुख (राहुल गांधी) को लेकर थोड़ा आलोचनात्मक था। मैंने उनसे कहा कि रोज संसद को बाधित करना अच्छा नहीं है। आपको कुछ तरीके अपनाने होंगे। नए तरीके से विरोध करना होगा। आपको रचनात्मक होना होगा। उन्हें कुछ दिक्कत हुई और देखिए, वे प्रश्नकाल, शून्यकाल, चर्चा और डिबेट भी बंद कर रहे हैं।”
पिछला संसद सत्र पूरी तरह हंगामे की भेंट चढ़ा था। बिहार में एसआईआर प्रक्रिया का विरोध करते हुए विपक्षी दलों ने मानसून सत्र में लगातार गतिरोध पैदा किया। फिलहाल 12 राज्यों में एसआईआर प्रक्रिया जारी है और संसद का शीतकालीन सत्र एक दिसंबर से शुरू होगा। इस बार भी संसद में एसआईआर और कथित वोट चोरी जैसे विषयों पर हंगामा होने के पूरे आसार हैं।
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