
नई दिल्ली । यूके में एंटी इमिग्रेशन रैली (Anti-immigration rally)के बाद कम से कम 24 लोगों को गिरफ्तार(arrested) किया गया है। शनिवार को लंदन की सड़कों(streets of london) पर लाखों लोगों ने उतरकर प्रदर्शन(Display) किया था। कई जगहों पर प्रदर्शनाकिरयों और पुलिस के बीच झड़प हो गई जिसमें कम से कम 26 अधिकारी घायल हो गए। दक्षिणपंथी टॉमी रॉबिंसन के आह्वान पर 1 लाख से ज्यादा लोगों ने कैपिटल स्ट्रीट की ओर मार्च किया था। वैसे तो यह रैली अभिव्यक्ति की आजादी के नाम पर की गई थी लेकिन इसका असल मकसद इमिग्रेशन और मुस्लिमों के खिलाफ था। रैली में एक आवाज गूंज रही थी, ‘जिनको हमने गुलाम बनाया था, वे हमें गुलाम बना रहे हैं।’
दक्षिणपंथियों का मानना है कि कोर्ट, लिबरल मीडिया और प्रशासन अल्पसंख्यकों के अधिकारों के प्रति इतना झुक गए हैं कि वे बहुसंख्यकों के साथ अन्याय करने लगते हैं। रॉबिंसन हाल ही में जेल से बाहर आए हैं। कोर्ट का आदेश ना मानने की वजह से उन्हें गिरफ्तार किया गया था। रॉबिंसन ने पहले ही कहा था कि जेल से निकलने के बाद वह फ्री स्पीच रैली निकालेंगे।
बीते कुछ सालों से ब्रिटेन में मुस्लिम देशों से शरणार्थी बड़ी संख्या में पहुंच रहे हैं। रॉबिंसन का कहना है कि सीरिया और अन्य देशों से आने वाले नावों को समंदर से ही लौटा दिया जाए। उनका कहना है कि हमें अपने बच्चों का भी खयाल करना है। बता दें कि रॉबिंसन की रैली के बाद माइग्रेशन के समर्थन में भी एक रैली निकाली गई जिसमें करीब 5 हजार लोग शामिल हुए।
ब्रिटेन के लोगों का मानना है कि अवैध आव्रजन की वजह से अपराध बढ़ रहे हैं। इसके अलावा बाहर से आने वाले लोग संसाधनों का दोहन करते हैं। बहुत सारे शरणार्थियों के रुकने के इंतजाम सरकारी खर्चे पर किए गए हैं। बीते दिनों एक होटल में ठहरे शरणार्थी पर रेप के भी आरोप लगे थे। हालांकि उसने आरोपों को खारिज किया था। ब्रिटेन की सरकार को लगता है कि इन शरणार्थियों को होटल में रखना ज्यादा आसान है। लेकिन अगर वे काम की तलाश करने लगे तो ज्यादा बड़ी मुश्किल खड़ी हो जाएगी।
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