
भोपाल। अलग-अलग स्थानों पर बने छह वेदर सिस्टम के प्रभाव से मध्यप्रदेश में मौसम का मिजाज बदलने वाला है। मौसम विज्ञानियों के मुताबिक वातावरण में नमी बढऩे से बुधवार से बादल छाने लगेंगे। इस दौरान जबलपुर, होशंगाबाद, जबलपुर संभागों के जिलों में कहीं-कहीं बौछारें भी पड़ सकती है। बादलों के कारण रात के तापमान में बढ़ोतरी होने के भी आसार हैं। मौसम विज्ञान केंद्र के मौसम विज्ञानी पीके साहा ने बताया कि मंगलवार को राजधानी का अधिकतम तापमान 27.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। जो सामान्य से दो डिग्रीसे. कम रहा। न्यूनतम तापमान 13.8 डिग्रीसे. रिकार्ड किया गया। सामान्य से एक डिग्रीसे. कम रहा।
अरब सागर, बंगाल की खाड़ी से मिलेगी नमी
मौसम विज्ञान केंद्र के पूर्व वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अजय शुक्ला ने बताया कि वर्तमान में एक कम दबाव का क्षेत्र बंगाल की खाड़ी में बना हुआ है। अरब सागर में भी एक कम दबाव का क्षेत्र मौजूद है। इसके अवदाब के क्षेत्र में बदलने की संभावना है। बंगाल की खाड़ी से अरब सागर तक एक ट्रफ बना हुआ है। इसके अतिरिक्त एक अन्य ट्रफ अरब सागर से दक्षिणी कोंकण तक बना हुआ है। इसके अतिरिक्त एक प्रति चक्रवात छत्तीसगढ़ और उसके आसपास बना हुआ है। एक पश्चिमी विक्षोभ भी गुरुवार को उत्तर भारत में प्रवेश कर सकता है। इन छह वेदर सिस्टम के असर से बुधवार से मप्र में कहीं-कहीं बादल छा सकते हैं। प्रति चक्रवात के कारण बंगाल की खाड़ी से नमी मिलना शुरू होगी। साथ ही अरब सागर में बने सिस्टम से भी हवाओं के साथ नमी आने लगेगी। इससे विशेष कर दक्षिणी मप्र में बादल छाने के साथ ही बौछारें पडऩे की संभावना है। मौसम का इस तरह का मिजाज दो-तीन दिन तक बना रह सकता है।
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