
रीवा: मुख्यमंत्री मोहन यादव (Chief Minister Mohan Yadav) ने रीवा में किसानों पर हुए लाठीचार्ज को लेकर नाराजगी जताई है. साथ ही उन कलेक्टरों को भी प्रशासनिक व्यवस्था (administrative law) पर असंतोष जाहिर किया है, जो खाद वितरण के मामले में किसानों का गुस्सा कंट्रोल नहीं कर पा रहे हैं. लगातार खाद की कमी से किसानों का गुस्सा फूट रहा है और सरकारी की किरकिरी हो रही है. सीएम मोहन यादव ने कलेक्टरों से कहा कि खाद वितरण सही नहीं हुआ, मतलब जिला नहीं चला पा रहे हैं, हटाना होगा.
रीवा में मंगलवार को खाद वितरण को लेकर किसानों की नाराजगी और फिर हुए लाठीचार्ज को लेकर सीएम ने नाराजगी जताई. उन्होंने प्रदेश के अतिवृष्टि और बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत कार्यों और जिलों में खाद वितरण की स्थिति की समीक्षा वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग की. उन्होंने कहा कि खाद की रैक आने से पहले किसान संगठनों और अन्य सूचना तंत्रों के जरिए कलेक्टर जिले के किसानों को जानकारी दें कि जिस तारीख को खाद वितरण होने वाला है, उस तारीख को ही लेने आएं.
सीएम ने कहा कि इसके लिए 3 दिन पहले से प्रचार-प्रसार करें, ताकि लोगों को जानकारी रहे कि किस दिन खाद मिलने वाला है. ऐसा करने से अव्यवस्था नहीं रहेगी. उन्होंने कहा कि राज्य शासन हर स्थिति में किसानों के साथ है. जिलों में उर्वरक उपलब्धता की सघन समीक्षा की जाए। इसके साथ ही जिले में उपलब्ध उर्वरक के स्टॉक की जानकारी जनप्रतिनिधियों से भी साझा की जाए, जिससे किसानों को जिले में उर्वरक स्टॉक की वास्तविक स्थिति से अवगत कराने में मदद मिलेगी.
बैठक में खाद वितरण को लेकर सबसे अच्छी व्यवस्था को लेकर चर्चा हुई, शाजापुर, जबलपुर, दमोह और धार जिले में यह सबसे अच्छी है. शाजापुर और जबलपुर में किसानों को ऑनलाइन टोकन देने की व्यवस्था है. जब भी खाद वितरण होता है तो किसान टोकन ले लेते हैं और जब नंबर आता है तब पैसा जमा कर खाद उठा लेते हैं. वहीं दमोह और धार कलेक्टरों के इंतजाम की तारीफ हुई. वहीं रीवा कलेक्टर और सीधा कलेक्टर की व्यवस्था को लेकर असंतोष जताया गया.
©2025 Agnibaan , All Rights Reserved