
नई दिल्ली। कोरोना वायरस कब खत्म होगा? कोरोना की Vaccine आखिर बाजार में कब आएगी? इन सभी सवालों के जवाब अब तक नहीं मिल पाए हैं, लेकिन दुनियाभर के वैज्ञानिक इसको लेकर लगातार प्रयास कर रहे हैं कि Vaccine जल्द से जल्द बाजार में आ जाए। ऐसा माना जा रहा है कि Vaccine इस साल के अंत तक या अगले साल बाजार में उपलब्ध हो जाएगी, लेकिन सबसे बड़ा सवाल ये है कि क्या कम आय वाले देशों को Vaccine मिलने में समय लगेगा और अमीर और ताकतवर देशों को पहले Vaccine मिल जाएगी? पहले भी ऐसे सवाल उठे थे और इसीलिए विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO), गावी और CEPI नामक संस्था ने मिलकर एक प्लान बनाया, जिसके तहत सभी को समय पर और उचित मात्रा में Vaccine उपलब्ध कराई जा सके। इसी प्लान को ‘कोवाक्स प्लान’ या ‘कोवाक्स फैसिलिटी’ नाम दिया गया है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन के महानिदेशक टेड्रोस अधानोम घेब्रेयसस ने कहा है कि अब तक दुनिया के 184 देश ‘कोवाक्स प्लान’ में शामिल हो चुके हैं। जेनेवा में सोमवार को कोरोना वायरस के बारे में मीडिया को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि इस प्लान का उद्देश्य कोरोना की Vaccine का सभी संपन्न और कम संपन्न देशों में समान रूप से वितरण करना है।
टेड्रोस अधानोम ने कहा कि यूरोप और उत्तरी अमेरिका में कोरोना के मामलों में बढ़ोतरी देखी जा रही है, इसलिए सरकारों के लिए यह जरूरी है कि वो संक्रमण को रोकने के लिए सभी प्रयास करें, ताकि लोगों के जीवन को बचाया जा सके। उन्होंने कोरोना से बचने के लिए बताए गए उपायों का एक बार फिर से जिक्र किया और कहा कि लोगों को सुरक्षित दूरी बनाए रखना, मास्क पहनना, हाथ को साफ रखना, भीड़-भाड़ से दूर रहना आदि नियमों का बहुत ध्यान से पालन करना चाहिए।
वैसे तो ‘कोवाक्स प्लान’ में शामिल होने की आखिरी तारीख 18 सितंबर तय की गई थी, लेकिन उसके बाद भी कई देश इस प्लान में शामिल हुए हैं। हालांकि अमेरिका इस प्लान का हिस्सा नहीं है। उसने वैक्सीन की खरीद के लिए कंपनियों से अलग से कई समझौते किए हुए हैं।
गावी वैक्सीन एलायंस के एक वरिष्ठ अधिकारी सेथ बर्कले ने कहा था कि ‘कोवाक्स प्लान’ का सबसे बड़ा मकसद यही है कि जो देश वैक्सीन खरीदने में सक्षम नहीं हैं, उन तक भी इसे आसानी से और उचित कीमत पर पहुंचाया जाए, ताकि लोगों की जान बचाई जा सके। विश्व स्वास्थ्य संगठन, गावी और सीईपीआई के समन्वित समूह का कहना है कि कोरोना से बचने के लिए सभी लोगों को वैक्सीन मिलनी चाहिए और उचित कीमत पर मिलनी चाहिए।
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