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डोनाल्ड ट्रंप के करीबी दोस्त को भी भारत पर भरोसा, टैरिफ को लेकर कह दी ये बड़ी बात

September 30, 2025

नई दिल्ली. फिनलैंड (Finland), अमेरिका (US) का खास दोस्त और इसके राष्ट्रपति एलेक्जेंडर स्टब (President Alexander Stubb) को डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) का करीबी माना जाता है. लेकिन भारत (India) पर लगाए गए 50% हाई टैरिफ को लेकर ये अमेरिकी दोस्त लगातार US को भारत के प्रति अपनी नीति में बदलाव की सलाह दे रहा है. बीते दिनों जहां प्रेसिडेंट एलेक्जेंडर ने बड़ा बयान देते हुए ट्रंप को सलाह दी थी, तो वहीं अब फिनलैंड की विदेश मंत्री एलिना वाल्टोनन ने ऐसी बात कह दी है कि ट्रंप हैरान रह जाएंगे.

एलिना वाल्टोनन ने कहा है कि यूरोप भारत पर टैरिफ कम करने के साथ ही उसके साथ द्विपक्षीय व्यापार को बढ़ाने पर विचार कर रहा है. इसके साथ ही अमेरिका की बार-बार की जा रही अपील के बावजूद उन्होंने रूसी तेल और हथियार खरीदारी को लेकर भारत पर किसी भी तरह का सेकेंडरी टैरिफ लगाने की संभावना को भी सिरे से खारिज कर दिया.


‘हम भारत के साथ व्यापार बढ़ाना…’
रिपोर्ट के मुताबिक, फिनलैंड की विदेश मंत्री ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के अवसर पर दिए एक इंटरव्यू में ये बड़ा बयान दिया है. वाल्टोनन ने कहा है कि, ‘अब हम भारत के साथ अपने व्यापार को बढ़ाना चाहते हैं. इसका मतलब यह होगा कि नए टैरिफ लगाने के बजाय हम उन्हें कम करना चाहेंगे और FTA वार्ता को सद्भावनापूर्वक और जल्द आगे बढ़ाना चाहेंगे.’ हालांकि, उन्होंने हम उम्मीद भी जाहिर की कि भू-रणनीतिक परिप्रेक्ष्य से भारत भी स्वयं को यूरोपीय संघ की विदेश नीति के और करीब लाएगा, जिसमें वह सक्रिय रूप से शामिल है.

ट्रंप लगातार बना रहे थे टैरिफ का दबाव
फाइनेंशियल टाइम्स की इसी महीने आई एक रिपोर्ट में ये कहा गया था कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रूस पर दबाव बनाने के लिए यूरोपीय संघ से भारत और चीन पर 100% तक टैरिफ लगाने का अनुरोध किया था. उन्होंने वाशिंगटन में वरिष्ठ अमेरिकी और यूरोपीय संघ के अधिकारियों के साथ यूक्रेन युद्ध की आर्थिक लागत को मास्को पर बढ़ाने के तरीकों पर चर्चा के लिए की गई एक बैठक के दौरान ऐसा करने के लिए कहा था.

विदेश मंत्री बोलीं- सीधे रूस पर एक्शन
ट्रंप की डिमांड के संबंध में पूछे गए एक सवाल के जवाब में विदेश मंत्री वाल्टोनन ने कहा कि यूरोप अपनी प्रतिबंध योजना पर पूरी तरह से कायम है. हमारे पास एक बेहद प्रभावी प्रतिबंध नीति है, और रूस को अपना अवैध युद्ध बंद कराने के लिए हमारा सबसे पहला और सबसे कारगर तरीका भी ये बैन ही हैं. उन्होंने आगे कहा कि हम टैरिफ लगाने पर भी विचार कर रहे हैं, लेकिन ये टैरिफ सीधे रूस पर लगाए जाएंगे. इसकी वजह साफ करते हुए विदेश मंत्री ने कहा कि अमेरिका के उलट, यूरोप अभी भी रूस से कुछ वस्तुओं और सर्विसेज का आयात करता है.

एलिना वाल्टोनन ने आगे कहा कि इसमें से काफी कुछ प्रतिबंधित है. उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा कि हम रूस से अपने कच्चे तेल के आयात को 90% तक कम करने में सक्षम रहे हैं, इसके साथ ही अभी और भी बहुत कुछ करने की जरूरत है, लेकिन यही हमारा काम करने का प्राथमिक तरीका है.

उन्होंने यूरोप द्वारा भारत और चीन पर द्वितीयक टैरिफ लगाने पर विचार किए जाने के सवाल के जवाब में साफ किया कि यह यूरोपीय स्थिति है और निश्चित रूप से हम नए विचारों की जांच करने के लिए उत्सुक हैं, लेकिन फिलहाल हमें इसकी कोई आवश्यकता नहीं दिख रही है, क्योंकि हमने देखा है कि प्रतिबंधों की मौजूदा नीति काफी कठोर है.

राष्ट्रपति स्टब कर चुके ट्रंप को आगाह
गौरतलब है कि अमेरिका की ओर से पहले भारत पर 25% का रेसिप्रोकल टैरिफ लगाया गया था, लेकिन फिर रूसी तेल की खरीद को मुद्दा बनाकर ट्रंप ने इसे डबल करते हुए 50% कर दिया था. ये एक्स्ट्रा टैरिफ भारत पर यूक्रेन में रूस के युद्ध को अप्रत्यक्ष रूप से वित्तीय मदद पहुंचाने का आरोप लगाते हुए लगाया गया था. विदेश मंत्री वाल्टोनन से पहले फिनलैंड के राष्ट्रपति स्टब ने खासतौर पर अमेरिका को दिए एक संदेश में कहा था कि अगर हम भारत जैसे ग्लोबल साउथ के प्रति अधिक सहयोगी और सम्मानजनक विदेश नीति नहीं बनाते हैं, तो हम यह खेल हार जाएंगे.

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