
नई दिल्ली । वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitaraman) ने विपक्ष के हंगामे और वाकआउट के बीच (Amid Opposition uproar and walkout) गुरुवार को नया इनकम टैक्स बिल (New Income Tax Bill) लोकसभा में पेश किया (Introduced in Lok Sabha) । इस बिल का उद्देश्य टैक्स प्रावधानों का सरलीकरण करना है, जिससे इनकम टैक्स कानून की पेचीदगी को कम किया जा सके और आसानी से लोग इसे समझ सकें।
नए इनकम टैक्स बिल में पेजों की संख्या को घटाकर 622 कर दिया गया है और इसमें 536 क्लॉज होंगे। यह 64 साल पुराने इनकम टैक्स कानून को रिप्लेस करेगा, जिसमें 823 पेज और 819 सेक्शन हैं। प्रस्तावित नए इनकम टैक्स बिल में चीजों को आसान बनाने पर फोकस किया गया है। साथ ही ‘असेसमेंट ईयर’ को ‘टैक्स ईयर’ से रिप्लेस किया जा रहा है।
साथ ही यह कानूनी विवादों के दायरे को कम करने और समझने में आसान बनाने के लिए विभिन्न जटिल प्रावधानों और स्पष्टीकरणों को खत्म कर देगा। सरलीकरण प्रक्रिया के हिस्से के रूप में कुछ पुराने क्लॉज को हटाया जा सकता है। नया कानून, इनकम टैक्स एक्ट 1961 की जगह लेगा। बीते छह दशकों में लगातार संशोधन के बाद यह कानून काफी पेचीदा होगा। नया टैक्स फ्रेमवर्क एक अप्रैल, 2026 से अमल लाया जाएगा।
एक बार लोकसभा में पेश होने के बाद, नए कानून को आगे के विचार-विमर्श के लिए वित्त पर संसदीय स्थायी समिति को भेजा जाएगा। यह बिल मौजूदा टैक्स स्लैब में बदलाव नहीं करेगा या दी गई टैक्स छूट को कम करेगा। इसके बजाय नए कानून का लक्ष्य छह दशक पुराने कानून को मौजूदा समय के अनुकूल बनाना है।
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