
इन्दौर राजेश मिश्रा। 28 विघानसभा सीटों पर उपचुनाव निपटते ही अब नगर निगम चुनाव की हलचल कांग्रेस में सुरू हो गई है। पिछली बार कांग्रेस की टिकट से चुनाव जीते पूर्व पार्षदों ने गुपचुप ढंग से प्रस्ताव तैयार किया है। जिसमें उन्हें फिर से टिकट देने की मांग रखी गई है। यह प्रस्ताव प्रदेश कांग्रेस कमेटी और शहर कांग्रेस कमेटी को सौंपा जाएगा। पूर्व पार्षदों की इस संबंध में आजकल में गुप्त स्थान पर बैठक भी होने जा रही है।
उपचुनाव के परिणाम भले ही कांग्रेस के लिए निराशाजनक रहे हों, मगर जमीनी स्तर पर वार्डों में सक्रिय कांग्रेस के नेता और कार्यकर्ता नगर निगम का चुनाव लड़कर पार्षद बनने का सपना देख रहे हैं। कांग्रेस के सूत्रों के अनुसार वार्डों का परिसीमन होने के बाद अधिकांश नेता या तो खुद सक्रिय हो गये हैं या अपने परिवार में से किसी को लड़ाने के लिए वार्डों में मेलजोल बढ़ा रहे हैं। स्थिति यह है कि शहर कंग्रेस के पास बड़ी संख्या में नेता और कार्यकर्ताओं ने अपने अपने बायोडाटा भी दीपावली से पहले जमा करा दिये हैं और टिकट की मांग रखी है। इधर, पिछली निगम परिषद में कांग्रेस के टिकट से निगम का चुनाव लड़कर जीते 15 पूर्व पार्षदों ने फिर से टिकट उन्हें मिले, इसके लिए संगठन पर दबाव बनाने के लिए एक प्रस्ताव तैयार किया है। टिकट की चाह मे यह सभी पार्षद एकजुट हो गए हैं और आजकल में वापस से टिकट मिले, इसको लेकर एक स्थान पर गुपचुप बैठक भी कर रहे हैं। बैठक कहां होगी, इसकी भनक इन पूर्व पार्षदों ने किसी को नहीं दी है, बैठक में रणनीति बनाई जाएगी।
वार्डो में शहर कांग्रेस सर्वे कराएगी
विधानसभा चुनाव की तर्ज पर नगर निगम चुनाव में भी वार्ड स्तर पर सर्वे कराया जाएगा। सर्वे में जो जीतने योग्य प्रत्याशी होगा, उसे ही टिकट दिया जाएगा। हालांकि शहर कांग्रेस के नेता यह स्वीकार कर रहे हैं कि उपचुनाव में हार के बावजूद नगर निगम चुनाव के लिए चार से पांच दावेदार एक एक वार्ड में सक्रिय है।
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