
नई दिल्ली । दोस्तों के साथ नशा करने के लिए घर से निकले एक व्यक्ति का कंकाल 6 साल बाद मिला है। केरल पुलिस ने शुक्रवार को घटनास्थल से मानव कंकाल को बरामद किया है। पुलिस का दावा है कि यह कंकाल उसी व्यक्ति है, जो कि 2019 में अपने घर से गायब हो गया था। उसके गिरफ्तार किए गए दोस्तों के मुताबिक मृतक नशा करने के बाद बेहोश हो गया था। इसके बाद उसे मृत समझकर इन्होंने मिलकर दलदली जमीन में दफना दिया।
एजेंसी के मुताबिक वेस्ट हिल निवासी विजिल 24 मार्च 2019 को अपने घर से निकलने के बाद लापता हो गया था। इसके बाद उसके परिवार ने गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करवाई। जांच करने पर पता चला कि उस दिन दोपहर दो बजे उसका फोन सरोवरम पार्क इलाके में चालू था। इसके बाद पुलिस ने तहकीकात करते हुए मामले की जांच जारी रखी।
गिरफ्तार किए गए आरोपियों के मुताबिक विजिल सरोवरम पार्क इलाके में उनके साथ ब्राउन सुगर का सेवन कर रहा था। इसी दौरान वह बेहोश हो गया। उन सभी से समझा कि वह मर गया है, इसीलिए उसकी गाड़ी को रेलवे स्टेशन पर छोड़ दिया और उसके फोन को वहीं फेंक दिया। बाद में दो दिन के बाद जाकर उसके शव को भी वहां मौजूद एक दलदली जमीन में फेंक कर दफना दिया।
आरोपी एरंजपालन निवासी निखिल और वेंगेरी निवासी दीपेश ने दावा किया कि दफनाने के कुछ महीने बाद वह वापस उस जगह पर आए थे। विजिल के कुछ अवशेष एकत्रित करके उन्हें वर्कला में विसर्जित भी किया था।
पुलिस के मुताबिक उस वक्त शव को नहीं ढूंढ़ा जा सका था, क्योंकि पूरी जमीन पर पानी भरा हुआ था। हाल में पुलिस द्वारा जब लंबित मामलों की समीक्षा की गई तो इस मामले को दोबारा खोला गया। पुलिस ने 25 अगस्त को निखिल और दीपेश को गिरफ्तार कर लिया, जबकि एक और आरोपी रंजीत अभी भी फरार है।
पुलिस अधिकारियों ने निखिल और दीपेश की मौजदूगी में दलदली जमीन की तलाशी एक बार फिर से शुरू कर दी। इस खोज में 11 सिंतबर को पुलिस ने कपड़े और जूते बरामद किए। इसके बाद 12 सितंबर को विजिल के शव के अवशेष मिले, जिनमें हड्डियां, दांत और जबड़े का हिस्सा शामिल है। हालांकि पुलिस ने इस अवशेषों को डीएनए जांच के लिए फॉरेंसिक जांच के लिए भेजा है।
अधिकारियों के मुताबिक आरोपियों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 304 (गैर-इरादतन हत्या), 201 (साक्ष्य मिटाना), 297 (कब्रिस्तान में अनधिकृत प्रवेश) और 34 (साझा इरादा) के तहत आरोप लगाए गए हैं। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि आरोपियों की हिरासत अवधि जल्द ही समाप्त होने वाली है और उन्हें अदालत में पेश किया जाएगा।
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