img-fluid

भैरवगढ़ जेल में इस बार नहीं होगा हर्बल गुलाल का निर्माण.. बनाने वाले कैदी हो चुके हैं रिहा

February 17, 2025

उज्जैन। भैरवगढ़ जेल में हर साल होली के लिए हर्बल गुलाल के निर्माण की तैयारी की जाती थी, इसके लिए जेल प्रशासन खुद आवश्यक कच्ची सामग्री उपलब्ध करवाता था, लेकिन इस बार भैरवगढ़ जेल में हर्बल गुलाल का निर्माण नहीं होगा।



दरअसल, इस बार जेल विभाग द्वारा प्राकृतिक फूलों से गुलाल बनाने की कोई तैयारियां दिखाई नहीं दे रही है। इधर होली का त्योहार में कुछ ही दिन शेष है। मामले में जानकारी देते हुए भैरवगढ़ जेल के जेलर सुरेश गोयल ने बताया कि जेल में हर्बल गुलाल बनाने के लिए प्रशिक्षित कैदी नहीं हैं। उन्होंने बताया कि हर साल जो कैदी होली के लिए हर्बल गुलाल बनाते थे, वे सभी रिहा हो चुके हैं। इसलिए काम शुरू नहीं हुआ है। इधर जेल विभाग के अधिकारियों के सुस्त रवैया से नए कैदियों को भी गुलाल बनाने का प्रशिक्षण नहीं मिला हैं। नतीजा, इस साल होली की मस्ती में कैदियों को हर्बल गुलाल और रंगों के लिए निराश होना पड़ेगा। बता दें कि हर्बल रंगों को प्रोत्साहित करने के लिए प्रदेश सरकार द्वारा सभी जेलों में प्राकृतिक सामग्री से कैदियों के द्वारा रंग बनाकर बेचने की प्रक्रिया प्रारंभ की थी। इसके लिए हर जेल में कैदियों को प्रशिक्षण भी दिया गया था। हर्बल कलर जेल में कैदियों होली खेलने के साथ-साथ बाजार में भी बेचा जाता था। इससे होने वाली आय कैदी को मिलती थी। केन्द्रीय जेल भैरवगढ़ में हर्बल कलर बनाने वाले कैदी सजा पूरी कर रिहा हो गए हैं। वहीं जेल प्रशासन ने इस पर ध्यान नहीं दिया। ऐसे में वर्तमान में ऐसा कोई कैदी नहीं हैं जो हर्बल कलर बना सके। ऐसी स्थिति में इस बार भैरवगढ़ जेल में हर्बल कलर तैयार होने की कोई उम्मीद नहीं हैं।

Share:

  • सिंहस्थ के लिए जमीन अधिग्रहण से प्रभावित होने वाले किसान मुख्यमंत्री से मिले

    Mon Feb 17 , 2025
    शनिवार को भोपाल में मुख्यमंत्री ने कहा आपकी जमीन पर पूरा डेवलपमेंट सरकार करेगी 15 प्रतिशत का मुआवजा और 50 प्रतिशत जमीन आप उपयोग कर सकते हैं सिर्फ 35 प्रतिशत में सड़कें, सीवर लाइन, पानी की पाइपलाइन, बिजली के खंबे आदि लगेंगे उज्जैन। सिंहस्थ सिटी बनाने के लिए सरकार विकास प्राधिकरण के माध्यम से उज्जैन […]
    सम्बंधित ख़बरें
    लेटेस्ट
    खरी-खरी
    का राशिफल
    जीवनशैली
    मनोरंजन
    अभी-अभी
  • Archives

  • ©2025 Agnibaan , All Rights Reserved