
रविवार को हुई बैठक में मजदूरों ने कहा-खून देने के सिवाय हमारे पास कुछ नहीं बचा
इंदौर। अपने हक के लिए संघर्ष कर रहे हुकमंचंद मिल (Hukumchand Mill) के मजदूरों ने मुख्यमंत्री (Chief Minister) को अपने खून की 6 हजार बोतलें भेंट करने की घोषणा की है। मिल मजदूरों का कहना है कि आंदोलन और ज्ञापन करके देख लिया, उनकी कोई सुनवाई नहीं हो रही है। आने वाले समय में एक शिविर लगाकर मजदूर और उनके परिवार के लोग खून देकर बताएंगे कि अब इसके सिवा हमारे पास कुछ नहीं बचा है।
प्रति रविवार मिल मजदूरों (Laborer) की बैठक मिल परिसर में होती है। 12 दिसम्बर 1991 से मिल बंद होने के बाद यहां लगातार बैठक हो रही हैं और कल 1560वीं बैठक थी, जिसमें मिल मजदूर आक्रोशित हो गए। बैठक में मजदूर और मजदूरों के परिवारों ने भाग लिया। उनका कहना था कि बार-बार हमें आश्वासन दिए जा रहे हैं, लेकिन अभी तक इसका कोई ठोस निर्णय नहीं निकल पा रहा है। हम लोग अभी तक बार-बार ज्ञापन दे रहे हैं, लेकिन हमारी सुनी नहीं जा रही। मिल मजदूरों का नेतृत्व करने वाले हरनाम सिंह धारीवाल(Harnam Singh Dhariwal) , नरेंद्र श्रीवंश, किशनलाल बोकरे ने बताया कि हम सरकार से 6 अगस्त 2007 से 229 करोड रुपए की राशि जो न्यायालय ने मंजूर की है को दिए जाने की मांग करते चले आ रहे हैं, जिसके लिए मुख्यमंत्री ने मजदूरों को कई बार आश्वासन देते हुए कहा था कि मैं मजदूरों के पैसे दूंगा। यह मेरा वचन है प्राण जाए पर वचन न जाए, लेकिन उन्होंने अपना वादा आज तक पूरा नहीं किया।
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