
नई दिल्ली । भारत (India) 2047 तक 23-35 लाख करोड़ डॉलर की जीडीपी (GDP) के साथ उच्च आय वाले देशों में शामिल हो जाएगा। 8-10 फीसदी वार्षिक वृद्धि से यह संभव होगा। इसमें पांच प्रमुख क्षेत्र इलेक्ट्रॉनिक्स, एनर्जी, केमिकल्स, ऑटोमोटिव और सर्विस रणनीतिक विकास के रूप में काम करेंगे।
20 करोड़ लोगों के कार्यबल में प्रवेश करने की उम्मीद
बैन एंड कंपनी और नैसकॉम की रिपोर्ट के अनुसार, तकनीकी इनोवेशन और क्षेत्रीय बदलाव से भारत को फायदा मिलेगा। आने वाले दशकों में 20 करोड़ लोगों के कार्यबल में प्रवेश करने की उम्मीद है। इससे भारत के पास ऊंचे मूल्य वाले रोजगार निर्माण को बढ़ावा देने व महत्वपूर्ण आर्थिक क्षमता का फायदा उठाने का अवसर है। बढ़ती आय, कुशल श्रमिकों की बढ़ती संख्या व इन्फ्रास्ट्रक्चर में सुधार कुछ ऐसे प्रमुख कारक हैं जो वृद्धि को बढ़ावा दे सकते हैं।
निर्यात में आएगी तेजी
रिपोर्ट में कहा गया है कि एआई वाले चिप डिजाइन और कलपुर्जे विनिर्माण में प्रगति लागत प्रतिस्पर्धात्मकता और खोजपरक को बढ़ा सकती है। इससे 2047 तक इस क्षेत्र का निर्यात 24 प्रतिशत से बढ़कर 50 प्रतिशत तक हो जाएगा। अर्थव्यवस्था में इसका योगदान तीन प्रतिशत से बढ़कर 10 फीसदी तक हो सकता है। कुल ऊर्जा उत्पादन में भारत की रिन्यूएबल का हिस्सा 2047 में 70 प्रतिशत हो सकता है जो 2023 में 24 फीसदी था। ऑटो कलपुर्जा निर्यात क्षेत्र के 2047 तक 200-250 अरब डॉलर तक पहुंचने की संभावना है।
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