
इंदौर। मध्य प्रदेश के कैबिनेट मंत्री कैलाश विजयवर्गीय (Cabinet Minister Kailash Vijayvargiya) 40 वर्षों से राजनीति में सक्रिय हैं, लेकिन उनका पुश्तैनी काम किराना व्यापार है। नंदानगर (Nandanagar) स्थित अपनी दुकान पर विजयवर्गीय हर साल धनतेरस पर आकर पूजा करते हैं और फिर कुछ देर के लिए ग्राहकों को सामान भी देते हैं। शनिवार को भी वे दुकान पर पहुँचे और ग्राहकों को पुड़िया बाँधकर दी। उन्होंने कहा कि जब भी उन्हें समय मिलता है, वे दुकान पर आकर बैठते हैं।
विजयवर्गीय ने बताया कि उनके पिता मिल में काम करते थे। मिल की तनख्वाह से परिवार का गुजारा नहीं होता था। इस कारण किराने की दुकान खोली। इसी दुकान से परिवार का पालन-पोषण होता रहा। मेरी फीस किराने की दुकान की कमाई से ही चुकाई जाती थी।
उन्होंने बताया कि पिताजी ने दुकान की शुरुआत दूध, चाय की पत्ती और गुड़ बेचने से की थी, लेकिन धीरे-धीरे व्यापार बढ़ा। हमारी दुकान पर ग्राहकों की भी तीसरी पीढ़ी आ रही है, उन्होंने कहा। इस बार पिछले साल की तुलना में दीपावली पर ज्यादा सामान बिका है। उन्होंने यह भी बताया कि जीएसटी की स्लैब कम होने का फायदा आम लोगों को मिला है। स्वदेशी को बढ़ावा देने के लिए उन्होंने दुकान पर भी स्वदेशी वस्तुएँ रखी हैं।
मंत्री कैलाश विजयवर्गीय राजनीति के माहिर खिलाड़ी तो हैं ही, साथ में कई व्यापारों में भी हाथ आजमा चुके हैं। उन्होंने पटाखे का कारोबार भी किया है। इसके अलावा, नमक का व्यवसाय भी कर चुके हैं। विजयवर्गीय ने पूर्व मंत्री अनिल माधव दवे के साथ सॉफ्टड्रिंक की एक फैक्ट्री भी खोली थी, हालाँकि वह बिजनेस ज्यादा दिन तक नहीं चल पाया।
©2025 Agnibaan , All Rights Reserved