
भोपाल। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि किसानों की आर्थिक समृद्धि के लिए मध्यप्रदेश में अनेक महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं। गेहूँ उत्पादन में देश में अव्वल रहते हुए मध्यप्रदेश में किसानों को सभी तरह के उत्पादन का पूरा लाभ देने का कार्य किया। प्रदेश की कृषि विकास दर देश में सर्वाधिक है। इसके बावजूद अन्य प्रदेशों में किसानों के कल्याण के लिए किए जा रहे प्रयासों को ध्यान में रखते हुए मध्यप्रदेश में भी उन्हें लागू करने का निरंतर प्रयास किया जा रहा है।
केन्द्रीय मंत्री निनित गडकरी की पहल पर विदर्भ में लोकप्रिय हुई बहुआयामी एग्रो विजन कृषि प्रदर्शनी और अन्य नवाचारों को मप्र में भी अपनाया जाएगा। मध्यप्रदेश में एग्रो विजन का कार्यक्रम किसानों के हित में किए जाने की आवश्यक पहल की जाएगी। मुख्यमंत्री ने नागपुर में कृषि प्रदर्शन के शुभारंभ अवसर पर यह बात कही।
मुख्यमंत्री ने कहा कि मध्यप्रदेश में कृषि क्षेत्र को समृद्ध बनाने के लिए 5 सूत्री रणनीति पर अमल किया गया है। इसमें उत्पादन वृद्धि, लागत कम करने, फसल का उचित दाम देने, क्षति पर आवश्यक भरपाई और तकनीक का इस्तेमाल शामिल है। चौहान ने कहा कि मध्यप्रदेश में किसानों को प्राकृतिक आपदा और अन्य कारणों से फसलों की क्षति पर पर्याप्त राहत राशि देने की व्यवस्था की गई है। किसानों को फसल बीमा की राशि दिलवाने के लिए निरंतर समीक्षा की गई। परिणामस्वरूप किसानों को राहत मिली। इसी तरह कृषि कार्य में रिमोट सेंसिंग और तकनीक के भरपूर उपयोग से किसानों को लाभ देने का कार्य किया गया। मध्यप्रदेश में कृषि विविधीकरण पर भी ध्यान दिया जा रहा है। गेहूँ, धान, चना और दालों के अलावा फल और फूलों की खेती के नवाचार भी हो रहे हैं। प्रदेश में बाँस उत्पादन से किसानों को आय वृद्धि का लाभ मिला है। सबसे महत्वपूर्ण बात किसानों को जीरो प्रतिशत पर कर्ज देकर ब्याज से राहत दिलवाने की व्यवस्था की गई।
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