
झांसी: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के झांसी (Jhansi) के मऊरानीपुर क्षेत्र में एक अनोखा विवाह समारोह (Unique Wedding Ceremony) देखने को मिला. यहां 4 ऐसी शादियां हईं, जिसमें न फेरे हुए और न ही दूल्हे थे. लेकिन शादी संपन्न हुई. दरअसल, यहां 4 युवतियों ने भगवान शिव (Loard Shiv) से शादी रचाई. यह आयोजन ब्रह्माकुमारी आश्रम की ओर से कुंज बिहारी पैलेस में संपन्न कराया गया, जो न सिर्फ चर्चा का विषय बना, बल्कि भक्ति भाव की अनोखी मिसाल भी बन गया.
इस समारोह में शादी करने वाली युवतियों में रेखा, वरदानी, कल्याणी और आरती शामिल हैं, जो पारंपरिक वेशभूषा में सजधज कर दुल्हन की तरह तैयार हुईं. इन सभी ने विधिवत वैदिक रीति-रिवाजों के मुताबिक शिवलिंग को वरमाला पहनाई और जीवन भर ब्रह्मचर्य पालन और समाज सेवा का संकल्प लिया. उनका यह निर्णय आत्मिक शांति और ईश्वर-भक्ति की ओर बढ़ने का प्रतीक बना.
इस शादी में कोई दूल्हा नहीं था, फिर भी पूरा आयोजन एक पारंपरिक विवाह की ही तरह हुआ. शिवलिंग को प्रतीकात्मक दूल्हा मानते हुए उनके ऊपर बाकायदा पगड़ी बांधी गई और बारात में भगवान शिव के वाहन नंदी की झांकी भी शामिल रही. ढोल-नगाड़ों और भजन-कीर्तन के बीच आयोजन आध्यात्मिक उल्लास में बदल गया. समारोह के दौरान ब्रह्माकुमारी आश्रम के प्रतिनिधियों ने बताया कि यह विवाह सांसारिक बंधनों से ऊपर उठकर आत्मा की शुद्धता और परमात्मा से एकात्मता की ओर पहला कदम है.
उन्होंने कहा कि यह विवाह सांसारिक सुख-सुविधाओं को त्याग कर एक सेवा-प्रधान और संयमित जीवन की शुरुआत है. इस तरह बिना दूल्हे के भगवान शिव को अपना जीवन साथी मानते हुए चार युवतियों ने शादी रचाई और भक्ति, त्याग और आध्यात्मिक समर्पण का परिचय दिया. चारों युवतियां शिक्षित हैं और ग्रेजुएशन कर चुकी हैं. इस शादी समारोह में भारी संख्या में लोगों की भीड़ नजर आई. शिवलिंग को को दूल्हे की पगड़ी बांधी गई और भगवान शिव के वाहन नंदी की झांकी भी निकाली गई. चारों दुल्हनें इस झांकी में शामिल रहीं.
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