
भोपाल: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) में सीएम मोहन यादव (Mohan Yadav) सरकार ने वक्फ बोर्ड (Waqf Board) की संपत्तियों (Properties) का भौतिक सर्वेक्षण कराने का फैसला लिया है. इसके लिए सभी जिलों के कलेक्टरों (District Collectors) को निर्देश दिए गए हैं. पांच दिन में पूरी जानकारी सरकार तक पहुंचाने की बात कही गई है जिसमें वक्फ बोर्ड की वो संपत्तियां भी शामिल होंगी, जो अतिक्रमण के दायरे में आती हैं.
इसमें संपत्तियां भी होंगी जो लोग बंटवारे के बाद छोड़कर पाकिस्तान चले गए गए थे. पूरी जानकारी राजस्व विभाग की मदद से सरकारी पोर्टल पर भी अपलोड की जाएगी. बताया जा रहा है कि मध्य प्रदेश सरकार की तरफ से वक्फ बोर्ड की प्रॉपर्टी की फिजिकल वेरिफिकेशन की रिपोर्ट दिल्ली में संयुक्त संसदीय संमिति (JPC) को भेजी जाएगी.
इसके अलावा एमपी में वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष डॉ. सनवर पटेल का कहना है कि बहुत सी जानकारी दिल्ली भेज भी दी गई हैं जबकि राज्य सरकार की तरफ से अतिक्रमण संबंधित जानकारी सर्वे के बाद भेज दी जाएगी. इसके लिए रिपोर्ट तैयार की जा रही है. राज्य की मोहन यादव सरकार ने कलेक्टरों से वक्फ प्रॉपर्टी के नामांतरण के साथ-साथ कितनी जगह पर अतिक्रमण किया गया है, उसकी भी जानकारी मांगी है. कांग्रेस विधायक आरिफ मसूद ने वक्फ बोर्ड की संपत्तियों के भौतिक सत्यापन को लेकर कहा कि जेपीसी की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े हो रहे हैं.
आरिफ मसूद ने कहा कि ये वक्फ बोर्ड की संपत्ति को लेकर नहीं है बल्कि कुछ पूंजीपतियों को लाभ पहुंचाने के लिए है. उन्होंने कहा कि इससे कोई लाभ नहीं होगा. आरिफ मसूद ने कहा, ”मैं सरकार को चिट्ठी लिख रहा हूं कि इतनी सारी संपत्तियों का सर्वे इतने कम समय में संभव नहीं है इसलिए सर्वे के दिन बढ़ाए जाने चाहिए जिससे ये काम ठीक से हो सके.”
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