
बीजिंग। बर्फीले तूफान (Snow Storm) के कारण माउंट एवरेस्ट (Mount Everest) के तिब्बती हिस्से में फंसे लगभग एक हजार लोगों को बचाने के लिए रेस्क्यू ऑपरेशन (Rescue Operation) जारी है। करीब 4,900 मीटर से अधिक ऊंचाई पर स्थित इस क्षेत्र में बर्फबारी के कारण रास्ते अवरुद्ध हो गए हैं, जिन्हें हटाने के लिए सैकड़ों स्थानीय ग्रामीणों और बचाव दल को तैनात किया गया है। फिलहाल, 350 पर्वतारोहियों को ग्रामीणों और बचाव दलों ने सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया है।
स्थानीय मीडिया के हवाले से बताया कि कुछ पर्यटकों को पहले ही बचा लिया गया है। बर्फबारी का यह दौर शुक्रवार शाम से शुरू हुआ और तिब्बत में माउंट एवरेस्ट के पूर्वी हिस्से में और तेज हो गया। यह इलाका पर्वतारोहियों के बीच काफी लोकप्रिय है। माउंट एवरेस्ट दुनिया की सबसे ऊंची चोटी है, जिसकी ऊंचाई 8,849 मीटर से अधिक है, और इसे चीन में माउंट कोमोलांगमा कहा जाता है।
स्थानीय अधिकारियों ने बताया कि भारी बर्फबारी के चलते पर्वतारोहण से जुड़ी गतिविधियों को फिलहाल बंद कर दिया गया है। अक्टूबर का महीना एवरेस्ट और उसके आसपास के इलाकों में पर्वतारोहण के लिए सबसे सुरक्षित माना जाता है, जब तापमान सामान्य और आसमान साफ रहता है। एक गाइड ने कहा, “उसने अक्टूबर में कभी ऐसे मौसम का सामना नहीं किया था, यह सब अचानक हुआ।”
वैसे देखा जाए तो इस वक्त यह पूरा क्षेत्र चरम मौसमी गतिविधियों का सामना कर रहा है। नेपाल भी भारी बारिश से प्रभावित है। यहां बाढ़ और भूस्खलन की वजह से कई लोगों की जान गई है। इस बीच टाइफून मैटमो भी दक्षिण चीन में दस्तक दे चुका है। स्थानीय प्रशासन ने 151 किमी प्रतिघंटे की अधिकतम गति वाले तूफान से पहले दक्षिणी प्रांतों गुआंग्डोंग और हैनान से लगभग 347,000 लोगों को सुरक्षित निकाला है।
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