
नई दिल्ली । पहलगाम में आतंकी हमले (Pahalgam Terrorist attack) के करीब 8 महीने बाद राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) सात आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट (Charge sheet) फाइल की है। इसमें लश्कर-ए-तैयबा और द रजिस्टेंस फ्रंट (TRF) का नाम शामिल है। चार्जशीट में बतायाय गया है कि किस तरह से पाकिस्तान (Pakistan) से इस हमले की साजिश की गई। दावों को साबित करने के लिए सबूत भी पेश किए गए हैं। एनआईए ने कहा कि लश्कर और टीएरएफ ही इस आतंकी हमले के पीछे पूरा जोर लगा रहा था।
1597 पेज की चार्ज शीट में पाकिस्तान के तीन मारे गए आतंकियों के एल्वा हैंडलर साजिद जट्ट का नाम है। फैसल जट्ट उर्फ सुलेमान शाह, हबीब ताहिर उर्फ जिब्रान और हमजा अफगानी श्रीनगर के जंगलों में चलाए गए ऑपरेशन महादेव के दौरान ढेर कर दिए गए थे। लश्कर और टीआरएफ के अलावा इन पांच आरोपियों पर भारतीय न्याय संहिता के तहत आर्म्स ऐक्ट 1969 और यूएपीए 1967 लगाया गया है।
एनआईए ने भारत के खिलाफ युद्ध छेड़ने के आरोप में दो स्थानीय लोगों परवेज अहमद और बशीर अहमद को भी आरोपी बनाया है। उन्हें 22 जून को गिरफ्तार कर लिया गया था। उनपर आतंकियों की मदद करने और उन्हें पनाह देने का आरोप है। बता दें कि 22 अप्रैल को हुए इस हमले में कम से कम 25 लोगों की मौत हो गई थी। इसके बाद भारत ने ऑपरेशन सिंदूर चलाकर पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में आतंकी ठिकानों को तबाह कर दिया। बौखलाए पाकिस्तान ने भारत पर हमला करने शुरू कर दिया। हालांकि मजबूत डिफेंस सिस्टम के आगे पाकिस्तान की चल नहीं पाई और आखिर में उसे युद्धविराम के लिए गिड़गिड़ाना पड़ गया।
बयान के मुताबिक, आतंकवादियों को पनाह देने के आरोप में एनआईए द्वारा 22 जून को गिरफ्तार परवेज अहमद और बशीर अहमद जोथर के खिलाफ भी आरोपपत्र दायर किया है। बयान के मुताबिक, पूछताछ के दौरान दोनों आरोपियों ने हमले में संलिप्त तीन सशस्त्र आतंकवादियों की पहचान उजागर की और यह भी पुष्टि की कि वे प्रतिबंधित लश्कर-ए-तैयबा आतंकी संगठन से जुड़े पाकिस्तानी नागरिक थे।
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