मणिपुर (Manipur.)। अरुणाचल (Arunachal Pradesh) प्रदेश के सीमावर्ती गांवों में सुविधाओं के अभावन में माइग्रेट कर गए लोग अब फिर से अपने गांव लौटने लगे हैं। अरुणाचल प्रदेश विधानसभा के स्पीकर पसांग दोरजी सोना ने यह जानकारी दी। बता दें कि अरुणाचल प्रदेश (Arunachal Pradesh) की सीमाएं चीन और तिब्बत के साथ लगती हैं।
पसांग शि-योमी जिले की मेचुका विधानसभा सीट से विदायक हैं। कॉमनवेल्थ पार्लियामेंट्री असोसिएशन की दो दिनों की बैठक के बाद उन्होंने कहा कि सीमावर्ती गांवों की स्थिति में सुधार हुआ है। अब यहां मूलभूत जरूरतों के लिए लोगों को तरसना नहीं पड़ता। उन्होंने यह भी कहा कि रिवर्स माइग्रेशन देश की सुरक्षा के लिए भी बहुत जरूरी है। उन्होंने कहा कि मेचुका में डबल लेन का निर्माण और इंटरनेट कनेक्टिविटी देश की सुरक्षा के लिए बहुत जरूरी है।
बता दें कि अकसर इस तरह की रिपोर्ट्स आती रहती हैं कि चीन एलएसी के पास निर्माण कर रहा है या फिर गांव बसा रहा है। सीमा पर भारत के गांवों में सुविधाएं बढ़ाने से चीन को भी मुंहतोड़ जवाब मिलेगा।
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