
चेन्नई। तमिलनाडु (Tamil Nadu) के मदुरै (Madurai) में तत्कालीन उपप्रधानमंत्री लालकृष्ण आडवाणी (Lal Krishna Advani) की रथयात्रा (Rath Yatra) के दौरान पाइप बम लगाने की कोशिश में शामिल आतंकवादी अबूबकर सिद्दीकी (Terrorist Abubakar Siddiqui) को 30 साल बाद आंध्र प्रदेश (Andhra Pradesh) में उसके ठिकाने से गिरफ्तार कर लिया गया। पुलिस ने मंगलवार को यह जानकारी दी है। पुलिस ने बताया कि सिद्दिकी दक्षिण भारत में हुए कई बम विस्फोटों की घटनाओं को अंजाम देने में शामिल था और उसे तमिलनाडु के आतंकवाद निरोधी दस्ते ने अन्नामय्या जिले में उसके ठिकाने से गिरफ्तार किया है।
पुलिस बीते तीन दशकों से नागोर के सिद्दीकी की तलाश कर रही थी और उस पर पांच लाख रुपये का इनाम भी था। पुलिस ने एक बयान में बताया कि 60 वर्षीय सिद्दीकी के साथ तिरुनेलवेली के एक अन्य भगोड़े मोहम्मद अली उर्फ यूनुस उर्फ मंसूर को भी गिरफ्तार किया गया है।
पुलिस ने अपने बयान में कहा, ‘‘वे कई बम विस्फोटों और सांप्रदायिक हत्याओं में शामिल थे और तीन दशकों से पुलिस की पकड़ से बचते रहे थे।’’ मंगलवार को पुलिस ने एक गुप्त सूचना के आधार पर गिरफ्तार किया है। पुलिस ने बताया कि आरोपी को केंद्रीय खुफिया एजेंसियों की सहायता से गिरफ्तार किया गया।
अबूबकर कई चर्चित आतंकवादी मामलों में आरोपी है, जिनमें 1995 में चिंताद्रिपेट स्थित हिंदू मुन्नानी के कार्यालय में हुआ बम विस्फोट, उसी साल नागौर में हिंदू दक्षिणपंथी कार्यकर्ता टी मुथुकृष्णन के लिए जानलेवा साबित हुए पार्सल बम विस्फोट और 1999 में एग्मोर स्थित चेन्नई पुलिस आयुक्त कार्यालय और तिरुचिरापल्ली, कोयंबटूर और केरल समेत छह अन्य जगहों पर बम लगाने का मामला शामिल है।
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