
नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश में ड्राइविंग लाइसेंस बनाने का काम RTO में शुरू हो गया है। हालांकि अभी परमानेंट ड्राइविंग लाइसेंस ही बनाए जा रहे हैं, लर्निंग लाइसेंस वालों को अभी इंतजार करना होगा। लाइसेंस रीन्यूअल का काम भी अभी नहीं शुरू हुआ है। ड्राइविंग लाइसेंस के अलावा दूसरी सर्विसेज जैसे फिटनेस सर्टिफिकेट बनाने की भी शुरुआत हो चुकी है।
31 मई से RTO में शुरू हुआ काम
ड्राइविंग लाइसेंस का काम 31 मई से ही शुरू हो चुका है। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में RTO ट्रांसपोर्टनगर पहले स्थाई लाइसेंस आवेदकों को तीन शिफ्टों में बुला रहा है। पहली शिफ्ट सुबह 10:30 बजे से 12:30 बजे तक। दूसरी शिफ्ट दोपहर 12:30 बजे से दोपहर 2:30 बजे तक और तीसरी शिफ्ट 3 बजे से लेकर शाम 5 बजे तक है। जिन लोगों ने स्लॉट पहले से बुक कर रखे हैं उन्हें इन तीन शिफ्ट में जाकर अपना ड्राइविंग लाइसेंस का काम पूरा करना है। यहां रोजाना 180 ड्राइविंग लाइसेंस बनाने का लक्ष्य रखा गया है।
लर्निंग लाइसेंस के लिए करना होगा इंतजार
हालांकि अभी सिर्फ परमानेंट लाइसेंस बनाने का काम चल रहा है, लर्निंग लाइसेंस वालों को अभी इंतजार करना होगा। 30 जून के बाद लर्निंग लाइसेंस बनाए जाने का काम नए निर्देशों के तहत किया जाएगा। साथ ही लाइसेंस के रीन्यूअल और डुप्लीकेट लाइसेंस का काम भी अभी शुरू नहीं हुआ है। 15 जून के बाद रीन्यूअल और डुप्लीकेट लाइसेंस के लिए स्लॉट बुक कर सकेंगे। ऐसे में जिन आवेदकों ने स्लॉट पहले बुक कर लिया था और कैंसिल हो गया उन्हें दोबारा स्लॉट लेना पड़ेगा, लेकिन इसके लिए उन्हें दोबारा फीस नहीं चुकानी होगी।
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