
छिंदवाड़ा: इस साल के अंत में होने वाले चुनाव में बीजेपी और कांग्रेस (BJP and Congress) दोनों ही दल आदिवासी वोटरों (tribal voters) को साधने में युद्धस्तर पर जुटी हुई है. इसी कड़ी में मध्यप्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ (Former Chief Minister Kamal Nath) झाबुआ में आदिवासी स्वाभिमान यात्रा के समापन कार्यक्रम में शामिल हुए. इस मौके पर उन्होंने कहा कि आने वाला चुनाव न किसी उम्मीदवार का है और ना किसी पार्टी का, यह चुनाव एमपी के भविष्य का है. आदिवासी समाज के भविष्य का है.
वहीं मीडिया के सवाल का जवाब देते हुए कमलनाथ ने कहा कि पंडित धीरेंद्र शास्त्री छिंदवाड़ा आये हैं तो छिंदवाड़ा की जनता उन्हें लायी है. उन्होंने पंडित धीरेन्द्र शास्त्री महाराज को नहीं बुलाया. श्रद्धालुओं द्वारा कथा का आयोजन किया जा रहा है. वे आए हैं तो उनका हम स्वागत करते हैं. कुछ दिनों बाद प्रदीप मिश्रा भी छिंदवाड़ा आ रहे हैं. हम उनका भी स्वागत करेगें.
धीरेन्द्र शास्त्री द्वारा चलाए जा रहे हिंदू राष्ट्र अभियान पर कमलनाथ ने कहा कि देश में 82 प्रतिशत हिंदू रहते हैं, तो ये कौन सा राष्ट्र है? इतना कहकर वे बात को टाल गए. उन्होंने कहा कि अब तक इतना बड़ा आयोजन अब तक नहीं देखा. करीब 8 लाख भक्त छिंदवाड़ा आ कर पुण्य लाभ ले रहे हैं.
पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने बीजेपी पर आरोप लगाते हुए मणिपुर की घटना का उदाहरण दिया और कहा कि मणिपुर जैसी घटना चुनाव से पहले बीजेपी करवाने की कोशिश कर रही है. मणिपुर में क्या हो रहा है, ये समाज को बांटने का काम है. ये आदिवासी और गैर आदिवासी समाज के बीच झगडा करवा रहे हैं. आदिवासी अत्याचार पर कमलनाथ ने कहा कि आज मध्य प्रदेश में आदिवासियों पर अत्याचार लगातार बढ़ गए हैं. आदिवासी अत्याचारों में प्रदेश नंबर 1 पर है. मीडिया के माध्यम से अपराध समाने आते हैं.
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