
इंदौर। पिछले माह नवम्बर में महू (Mhow) के हरसोला गांव के पास के जंगलों से मादा तेंदुआ (female leopard) और दो शावकों (cub) तो रेस्क्यू कर वन विभाग (Forest Department) की टीम ने कमला नेहरू प्राणी संग्रहालय में रखा था ।
जानकारी के अनुसार दोनों शावकों में एक शावक की मृत्यु हो चुकी है। वन विभाग ने इसकी भनक मीडिया को लगने नहीं दी, जबकि चिडिय़ाघर में शावक की मौत कई दिनों पहले हो चुकी थी। इस मामले में महू एसडीओ प्रियंका बामनिया और फारेस्ट रेंजर से बात की गई तो उन्होंने कहा कि हमारे पास ऐसी कोई सूचना नहीं है। इसके बाद रालामण्डल एसडीओ से बात की तो उन्होंने कहा कि इस मामले में बयान देने के लिए अधिकृत नहीं है। डीएफओ से पूछ लीजिए, जबकि डीएफओ प्रदीप मिश्रा से बात की गई तो उन्होंने स्वीकार किया कि एक शावक की मृत्यु हो चुकी है। इसके अलावा मादा तेंदुआ भी बीमार है। चिडिय़ाघर वालों ने मादा तेंदुए को वन विभाग के अस्पताल में इलाज कराने को लिखा है। उनका कहना है कि भोपाल में बात की है, मगर अभी वहां पर इसे रखकर इलाज करने की व्यवस्था नहीं है ।