Ukraine war से पीछे हटा रूस! की खारकीव से सैनिकों की वापसी की घोषणा

कीव। यूक्रेन (war against Ukraine) के खिलाफ जंग शुरू करने वाले रूस (Russia) के कुछ फैसलों से लग रहा कि वो अब कदम पीछे खींच रहा है। शनिवार को रूसी रक्षा मंत्रालय (Russian Defense Ministry) ने यूक्रेन के खारकीव (Kharkiv) से अपने सैनिकों के वापसी की घोषणा (troops withdrawal announcement) की है। पिछले कुछ सप्ताह में यूक्रेन के सैनिक विरोधी सैनिकों पर अच्छी खासी बढ़त हासिल कर ली है। रूस और यूक्रेन के बीच पिछले छह महीने से भी अधिक समय से लड़ाई चल रही है। युद्ध के शुरुआत में रूसी सेना ने बढ़त हासिल की थी। कई शहरों पर अभी भी रूसी सेना का कब्जा है।

रूस के सरकारी समाचार एजेंसी ने देश के रक्षा मंत्रालय के हवाले से कहा है कि उन्होंने सैनिकों को खार्किव प्रांत के इज्यूम शहर के आसपास के क्षेत्र को छोड़ने का आदेश दिया है। सैनिकों को हटाने के पीछे रक्षा मंत्रालय ने कहा है कि उन्हें पड़ोसी दोनेस्क में अभियानों में भेजा जाएगा। गौरतलब है कि खारकीव में इज्यूम रूसी सेना का महत्वपूर्ण ठिकाना था।

कुपियांस्क पर कब्जे के कुछ घंटे बाद वापसी का फैसला
रूसी सरकार की ओर से यह घोषणा यूक्रेन के सैनिकों द्वारा देश के उत्तर में स्थित कुपियांस्क शहर पर कब्जा करने के कुछ घंटों बाद हुई। कुपियांस्क शहर रेलवे का हब माना जाता है और यहीं से उत्तरपूर्वी यूक्रेन रूस सेना साजो सामान की आपूर्ति कर रही थी। यूक्रेन के सैनिकों ने रूसी सैनिकों को अचानक पूरे मोर्चे पर आपूर्ति काट दिया है।

‘यूक्रेन का ही रहेगा’
ये शहर एक प्रमुख आपूर्ति केंद्र था और कई महीनों से यहां रूस और यूक्रेन की सेना में संघर्ष छिड़ा हुआ था। यूक्रेनी सेना ने शहर पर कब्जे के बाद सोशल मीडिया पर तस्वीरें साझा कर कहा कि ये शहर हमेशा यूक्रेन का ही रहेगा। एक क्षेत्रीय अधिकारी ने 27000 की आबादी वाले इस शहर की तस्वीरे साझा कर कहा कि हमने इस शहर पर दोबारा कब्जा कर लिया है।

सैनिकों को हटाने के पीछे यह वजह बताया
रूसी मीडिया ने रक्षा मंत्रालय के हवाले से कहा, डोनबास की मुक्ति के लिए विशेष सैन्य अभियान के निर्धारित लक्ष्यों को पाने और दोनेस्क में प्रयासों को बढ़ाने के उद्देश्य से बालक्लीया और इज्यूम जिले में तैनात रूसी सैनिकों को वापस बुलाने का फैसला किया गया है। दूसरी ओर से यूक्रेनी अधिकारियों से अभी तक इस बात की पुष्टि नहीं की गई है कि उन्होंने इजियम पर फिर से कब्जा कर लिया है।

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