रूसी डिप्टी पीएम का बयान, पिछले साल रूस से भारत को तेल की आपूर्ति 22 गुना बढ़ी

नई दिल्‍ली (New Delhi) । अमेरिका (America) समेत कई पश्चिमी देशों की ओर से रूस पर आर्थिक प्रतिबंध (economic sanctions) लगाए जाने के बाद भी भारत (India) रूस से भारी मात्रा में रियायत कीमतों पर कच्चा तेल (crude oil) खरीद रहा है. रूस (Russia) के उप प्रधानमंत्री अलेक्जेंडर नोवाक (Deputy Prime Minister Alexander Novak) के अनुसार, भारत ने पिछले साल की तुलना में 22 गुना ज्यादा रूसी तेल खरीदा है. हालांकि, उन्होंने यह नहीं बताया कि भारत ने कुल कितना तेल खरीदा.

उप प्रधानमंत्री अलेक्जेंडर नोवाक ने मंगलवार को कहा कि यूक्रेन के साथ युद्ध के बाद यूरोपीय देशों ने रूस के बजाय अन्य देशों से तेल खरीदना शुरू कर दिया. लेकिन इस दौरान भारत को निर्यात होने वाली रूसी तेल में पिछले साल की तुलना 22 गुना बढ़ोतरी हुई है.

चीन और भारत ने खरीदे सबसे ज्यादा रूसी तेल
यूक्रेन पर आक्रमण के बाद यूरोपीय यूनियन ने रूस से तेल खरीद पर रोक लगाते हुए आर्थिक प्रतिबंध लगा दिया था. जिसके बाद रूस ने अपने तेल निर्यात को पूरी तरह से भारत और चीन की ओर स्थानांतरित कर दिया. इसके बाद दिसंबर 2022 में यूरोपीय यूनियन ने रूसी कच्चे तेल पर प्राइस कैप लगा दिया था. इस प्राइस कैप को जी-7 समूह ने भी समर्थन किया था. इसके बावजूद भारत और चीन रूस से भारी मात्रा में सस्ता तेल खरीद रहा है.

उपप्रधान मंत्री अलेक्जेंडर नोवाक ने रूसी समाचार एजेंसियों से बात करते हुए कहा, “हमने अधिकांश ऊर्जा व्यापार क्षेत्रों को मित्र देशों की ओर स्थानांनतरित कर दिया है. उदाहरण के तौर पर अगर हम भारत की बात करें, तो पिछले साल की तुलना में हमने भारत को 22 गुना ज्यादा तेल निर्यात किया है.

भारत ने रूस से की बंपर तेल खरीद
अप्रैल से दिसंबर 2022 के दौरान भारत ने दुनिया भर के तेल उत्पादक देशों से कुल 1.27 अरब बैरल तेल खरीदा. इसमें से लगभग 19 प्रतिशत तेल भारत ने अकेले रूस से खरीदा. भारत के लिए एक मामूली तेल आपूर्तिकर्ता होने वाले रूस ने पिछले नौ महीने में ही सऊदी अरब और इराक जैसे शीर्ष तेल निर्यातक देशों को पीछे छोड़ दिया है. रिपोर्ट के मुताबिक, सितंबर से दिसंबर के बीच भारत ने सबसे ज्यादा तेल रूस से खरीदा है.

रूस ने तेल उत्पादन में की कटौती
ओपेक समूह के एक प्रमुख तेल उत्पादक देश रूस ने पश्चिमी देशों की ओर से लगाए गए प्रतिबंधों के कारण इस महीने से कच्चे तेल के उत्पादन में प्रति दिन 5,00,000 बैरल की कटौती करने की घोषणा की है.

रूस के उप प्रधानमंत्री और ऊर्जा मंत्री अलेक्जेंडर नोवाक ने पिछले सप्ताह घोषणा की थी कि रूस कच्चे तेल उत्पादन में प्रतिदिन 5 प्रतिशत की कटौती करेगा. यह कटौती जून तक जारी रहेगा. उन्होंने कहा कि रूस ने यह निर्णय पश्चिमी देशों की ओर से लगाए गए आर्थिक प्रतिबंधों के कारण लिया है. अंतर्राष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी की मानें तो रूस का तेल से कमाई पिछले साल की तुलना में फरवरी में लगभग आधा हो गया है.

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