उर्दू पत्रकार आरिफ़ अज़ीज़ को मिलेगा उर्दू अकादमी का क़मरुल हसन अवार्ड

मैंने तो क़लम इश्क़ लिखने के लिए उठाई थी ये बग़ावतें तो इस ज़माने की देन हैं। पचास बरस से ज़्यादा बीत गए। उनकी क़लम मुसलसल चल रही है। वो इंटरनेट और कंप्यूटर की दुनिया से दूर इल्म और तमाम जानकारियों से भरपूर असल सहाफी (पत्रकार) हैं। पूरे मुल्क में उर्दू सहाफत में उनका नाम … Read more