
इंदौर। पंद्रह करोड़ (15 crores) की नकली ब्राउन शुगर (Brown sugar) के साथ पकड़ाए आरोपियों ने पूछताछ में कबूला है कि वे तीन-चार माह से यह गोरखधंधा कर रहे हैं। इसके लिए इंदौर से कार लेकर मुजफ्फरनगर (Muzaffarnagar) जाते थे और माल लेकर आते थे। अब तक तीन से चार बार ड्रग्स लेकर आए हैं। पुलिस मास्टर माइंड की तलाश में जुटी है, जो परिवार सहित फरार है।
पुलिस ने कल चंदननगर क्षेत्र से मोहम्मद आरिफ, कार्तिक, अजय, कोमलसिंह और दिनेश को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने आरोपियों से अल्प्राजोलम और पैरासिटामाल को मिलाकर बनाई गई नकली ब्राउन शुगर जब्त की, जिसकी कीमत 15 करोड़ रुपए बताई गई है। पुलिस ने आरोपियों को रिमांड पर लेकर पूछताछ की तो पता चला कि गिरोह का मास्टर माइंड राघव है, जिसके पास जानवरों के पॉट्री फीड का लाइसेंस है। वह इसी की आड़ में यह गोरखधंधा चला रहा था। पुलिस ने उसके चेतक सेंटर के तीनों ऑफिस सील कर दिए हैं। बताते हैं कि पुलिस ने उसके घर पर छापा मारा, लेकिन वह परिवार सहित फरार हो गया। उसकी तलाश में टीमें लगाई गई हैं। यह गिरोह पंजाब, महाराष्ट्र, भोपाल, ग्वालियर सहित कई शहरों में नकली ब्राउन शुगर सप्लाई कर रहा था। सहायक उपायुक्त बीपीएस परिहार ने बताया कि आरोपियों ने बताया कि वे तीन-चार माह से यह काम कर रहे हैं। इसके लिए इंदौर से कार से मुजफ्फरपुर जाते थे और ड्रग्स लेकर आते थे। बाद में अन्य शहरों में सप्लाई करते थे। बताते हैं कि पुलिस की एक टीम मुजफ्फरनगर भी भेजी गई है। पुलिस को आशंका है कि ऑफिस के अलावा कुछ अन्य जगह पर भी ड्रग्स रखी हो सकती है। इसके चलते आरोपियों से पूछताछ की जा रही है। हालांकि आरोपियों का कहना है कि राघव को ही पता होता है कि माल कहां रखा है। पुलिस का कहना है कि राघव के मिलने पर कुछ और ड्रग्स तथा आरोपियों का खुलासा हो सकता है।
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