गाजा। किए हवाई हमलों ने मध्य-पूर्व में तनाव को चरम पर ला दिया है। इन दोनों ताकतवर देशों के बीच जंग के आसार बढ़ गए हैं। ईरान (iran) बदला लेने के लिए किसी भी हद को पार करने की धमकी दे रहा है तो इजरायल (Israel) भी पूरी तैयारी में है और ईरान पर और हमले कर सकता है। इजरायल ने ईरान के परमाणु ठिकानों और रिहायशी इलाकों पर भारी बमबारी की। इसके सबूत अब सामने आने लगे हैं। ईरान के क़ेरमंशाह प्रांत में स्थित उसके सबसे महत्वपूर्ण और अंडरग्राउंड बैलिस्टिक मिसाइल अड्डे की सैटेलाइट तस्वीरें सामने आईं हैं। तस्वीरों में तबाही के निशान साफ तौर पर देखे जा सकते हैं।
क़ेरमंशाह ईरान के पश्चिमी क्षेत्र में स्थित है, जहां सालों से एक अंडरग्राउंड मिसाइल स्टोरेज बेस के होने की आशंका जताई जा रही थी। यह इलाका लंबी दूरी की मिसाइलों का एक प्रमुख केंद्र माना जाता है। इजरायल लंबे समय से आरोप लगाता रहा है कि केरमंशाह में ईरान ने खुफिया मिसाइल बेस तैयार किए हैं।
सैटेलाइट तस्वीरों में तबाही के निशान
बेस के एंट्री पॉइंट पर गहरी दरारें और मलबे देखे जा सकते हैं। रॉकेट लॉन्च टनल की छतें ध्वस्त, स्पष्ट संकेत है कि हमला बेहद सटीक रहा। चारों ओर काले धुएं के गुबार और जलते मलबे भारी तबाही के गवाह हैं। इन तस्वीरों को इज़रायली पत्रकार Amichai Stein ने सोशल मीडिया पर शेयर किया है, जो अब तेजी से वायरल हो रही हैं।
यह बेस ईरान के लिए कितना खास
रिपोर्ट के अनुसार, यह इलाका इजरायल और अमेरिका पर लॉन्ग-रेंज बैलिस्टिक मिसाइलों के हमले का केंद्र हो सकता था। इसको पहाड़ों के अंदर सटीक संरक्षित किया गया था, ताकि ड्रोन या एयरस्ट्राइक उससे बचा जा सके — लेकिन इजरायली तकनीक ने इसे भी बेअसर कर दिया।
क्या है इजरायली रणनीति?
इज़रायल की यह कार्रवाई कथित रूप से “Operation Rising Lion” का हिस्सा है, जिसका उद्देश्य ईरान की सैन्य और परमाणु क्षमताओं को व्यापक रूप से क्षति पहुंचाना बताया गया है। इसी अभियान के तहत इजरायल ने कई रडार बेस और कमांड सेंटरों पर भी हमला किया है।
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