
इस्लामाबाद। भारत (India) के विदेश मंत्री डॉक्टर एस जयशंकर (External Affairs Minister Dr S Jaishankar) ने हाल ही में पाकिस्तान (Pakistan) को लेकर कहा था कि निरंतर बातचीत का समय अब खत्म हो गया है। इसके अलावा उन्होंने कहा था कि अब फिर कभी अनुच्छेद 370 (Article 370) कश्मीर (Kashmir) में लागू नहीं होगा। इस बयान को लेकर पाकिस्तान को मिर्ची लगी है। डॉ. जयशंकर के बयान पर पाकिस्तान के विदेश कार्यालय की प्रवक्ता मुमताज जहरा बलूच ने कहा कि कश्मीर विवाद अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त है और इसे संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) के प्रस्तावों और कश्मीरी लोगों की इच्छाओं के अनुसार हल करना चाहिए।
रविवार को बलूच ने बयान में कहा, ‘जम्मू और कश्मीर विवाद एक अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त मुद्दा है, जिसे संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के प्रस्तावों और कश्मीरी लोगों की इच्छाओं के अनुसार हल करना चाहिए। इस अनसुलझे संघर्ष का समाधान दक्षिण एशिया में शांति और स्थिरता के लिए जरूरी है।’ विदेश मंत्री डॉ. जयशंकर हमेशा सीधी बात करने वाले नेता के रूप में जाने जाते हैं। शुक्रवार को एक किताब की लॉन्चिंग के दौरान उन्होंने पाकिस्तान और कश्मीर पर टिप्पणी की थी।
क्या बोले थे विदेश मंत्री
विदेश मंत्री जयशंकर ने शुक्रवार को कहा था, ‘मुझे लगता है कि पाकिस्तान के साथ निर्बाध बातचीत का युग खत्म हो गया है। कार्रवाई के परिणाम होते हैं। जहां तक जम्मू-कश्मीर का सवाल है, तो अनुच्छेद 370 खत्म हो चुका है। भारत की जनता ने मान लिया है कि अब 370 फिर कभी नहीं आएगा।’ उन्होंने आगे कहा, ‘आज मुद्दा है कि हम पाकिस्तान के साथ किस तरह के रिश्ते रखते हैं। मैं जो कहना चाहता हूं वह यह कि हम निष्क्रिय नहीं है। चाहे घटनाएं सकारात्मक या नकारात्मक दिशा लेती है, उस पर हम प्रतिक्रिया देंगे।’
एकतरफा तरीके से नहीं सुलझेगा विवाद
बलूच ने अपने बयान में कहा कि जम्मू और कश्मीर का विवाद एकतरफा नहीं सुलझाया जा सकता। उन्होंने कहा, ‘इस तरह के दावे न केवल भ्रामक हैं बल्कि खतरनाक रूप से भ्रमित करने वाले हैं। क्योंकि वे जमीनी हकीकतों की साफ तौर से अनदेखी करते हैं। कश्मीर में भारत की एकतरफा कार्रवाई इस वास्तविकता को नहीं बदल सकती और न बदलेगी।’ बलूच ने आगे कहा कि पाकिस्तान कूटनीतिक बातचीत के लिए प्रतिबद्ध है।
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