
ट्यूनिस। अफ्रीकी देश ट्यूनीशिया (African Country, Tunisia) की राजधानी टेब्स (Capital Tabs) में शनिवार को हजारों की संख्या में लोग प्रदूषण (Pollution) के खिलाफ सड़कों पर उतर आए। सामान्य प्रदूषण से इतर इन लोगों ने मुख्य रूप से एक सरकारी कैमिकल फैक्ट्री (Government Chemical Factory) से निकलने वाले हानिकारण अपशिष्ट के खिलाफ भी प्रदर्शन किया। यह प्रदर्शन केवल राजधानी के एक हिस्से तक केंद्रित नहीं रहा, बल्कि इसे दक्षिणी क्षेत्र में भी भरपूर समर्थन मिला।
ट्यूनीशिया की जनता द्वारा किया जा रहा प्रदर्शन प्रदूषण को लेकर स्थानीय सरकार के ढुलमुल रवैए को लेकर बढ़ती जन निराशा का प्रतीक है। प्रदूषण को लेकर जारी यह प्रदर्शन राष्ट्रपति कैस सईद के लिए एक बड़ी चुनौती बना हुआ है।
रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, गेब्स में रहने वाले लोगों ने इस प्रदूषण की वजह से श्वसन संबंधी बीमारियों, ऑस्टियोपोरोसिस और कैंसर की बढ़ती दरों की ओर भी जानकारी दी। गैब्स वासियों के मुताबिक उनकी राजधानी में बढ़ रहीं इन बीमारियों की मुख्य वजह यह सरकारी रासायनिक समूह के फॉस्फेट संयंत्रों से निकलने वाली जहरीली गैसें ही हैं। इसके अलावा इन फैक्ट्रियों से प्रतिदिन हजारों टन कचरा समुद्र में फेंका जाता है।
आपको बता दें इस फैक्ट्री को लेकर गेब्स में हो रहे प्रदर्शन की शुरुआत तब हुई थी, जब क्षेत्र में स्कूल जाने वाले कई बच्चों को फॉस्फेट को फॉस्फोरिक एसिड और उर्वरकों में परिवर्तित करने वाले एक संयंत्र से निकलने वाले जहरीले धुएं के कारण सांस लेने में कठिनाई का सामना करना पड़ा।
कैस सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी कर रही इस भीड़ ने अपने हाथों में पोस्टर भी लिए हुए थे। इन पोस्टर्स पर उन्होंने गाजा में लोगों के प्रति अपनी एकजुटता दिखाने वाले नारे लिखे और लगा भी। इसके बाद स्थानीय पुलिस ने कुछ लोगों के उठाया। प्रदर्शनकारियों ने सरकार की प्रतिक्रिया को हिंसात्मक और दमनकारी बनाया है। वहीं दूसरी तरफ सरकार की तरफ से जारी बयान में कहा गया कि हिंसा फैलाने वाले कुछ व्यक्तिों को गिरफ्तार किया गया है।
रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक गैब्स में प्रदूषण रोको अभियान शुरू हुआ है। एक प्रदर्शनकारी हानी फराज ने रॉयटर्स को बताया, “यह बहुत आसान है, गेब्स के लोग साँस लेना चाहते हैं।” “गेब्स धीरे-धीरे मर रहा है… हम चुप नहीं रहेंगे। हम अपने शांतिपूर्ण विरोध प्रदर्शनों को और तेज करेंगे।”
गौरलतब है कि सैयद प्रशासन द्वारा भीड़ द्वारा किए जा रहे इस प्रदर्शन को राजधानी में अशांति फैलाने की आशंका से देखा जा रहा है। प्रशासन को डर है कि राजधानी में विरोध प्रदर्शन शुरू हो सकता है। इसके अलावा राजधानी में विरोध प्रदर्शन ट्यूनीशिया में कहीं और अशांति फैला सकते हैं, जिससे लंबे समय से चल रही आर्थिक मंदी और राजनीतिक अस्थिरता से जूझ रहे ट्यूनीशिया पर दबाव और बढ़ सकता है।
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