
नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस अभय एस ओका शुक्रवार (28 फरवरी 2025) को सुनवाई के दौरान कोर्ट के रूम के भीतर वकील पर भड़क गए. ऐसा तब हुआ जब कई वकील एक साथ बोलने लगे और अपनी-अपनी दलीलें देनी शुरू कर दीं. कोर्ट का माहौल देखते हुए जस्टिस ओका ने सभी वकीलों से शांत रहने को कहा और बारी-बारी से दलीलें देने की बात कही, लेकिन फिर भी वकील शांत नहीं हुए, जिसपर जस्टिस गुस्सा हो गए.
जस्टिस अभय एस ओका ने कहा कि वह इस तरह की अनुशासनहीनता देख-देख कर तंग आ चुके हैं. उन्होंने कहा, “कोर्ट के भीतर रोज अनुशासनहीनता देखने को मिल रहा है. हम वकीलों ने पूछते रहते हैं कि वे किसके लिए पेश हो रहे हैं, लेकिन वकील कोई जवाब नहीं देते हैं.”
उन्होंने गुस्से में कहा, “अगर कोर्ट के भीतर ऐसा ही माहौल रहा तो मैं सारी फाइलें फेंक दूंगा. अब एक नियम लागू होने चाहिए कि अगर एक ही समय में वकील लगातार बहस करते रहेंगे तो उनकी फाइलें फेंक देंगे.” बार एंड बेंच की रिपोर्ट के मुताबिक जस्टिस एस ओका ने कहा, “इस तरह की अनुशासनहीनता सिर्फ सुप्रीम कोर्ट में देखने को मिलता है. मैं कर्नाटक और बॉम्बे हाई कोर्ट में भी रह चुका हूं, लेकिन वहां इस तरह कभी देखने को नहीं मिला.”
यह पहला मामला नहीं है जब जस्टिस एस ओका वकीलों पर गुस्सा हुए हों. इससे पहले भी कई मामलों में वकीलों की ओर से झूठे बयान दिए जाने को लेकर उन्होंने नाराजगी जाहिर की है. सितंबर 2024 में जस्टिस एस ओका और जस्टिस ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह की बेंच ने कहा था कि उनके सामने कई ऐसे मामले आए हैं, जिसमें झूठी दलीलें दी गई हैं.
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