
इदौर। प्रदेश सरकार ने नशे के खिलाफ अभियान चला रखा है। लगातार पूरे प्रदेश में कार्रवाई हो रही है। इस दौरान बड़ी मात्रा में गांजा पकड़ में आ रहा है। प्रदेश में यह गांजा नक्सल प्रभावित क्षेत्रों से आ रहा है। इस पर कई एजेंसियों की नजर है और कुछ मामले पकड़े भी गए हैं।़
नारकोटिक्स विभाग के सूत्रों के अनुसार पिछले कुछ समय से प्रदेश में बड़े पैमाने पर गांजे की तस्करी की जा रही है। यह गांजा आंध्रप्रदेश, ओडिशा, महाराष्ट्र के कुछ क्षेत्रों और छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित क्षेत्रों से यहां आ रहा है। इसको लेकर पिछले दिनों हुई कई एजेंसियों की बैठक में यह बात सामने आई है कि गांजे की तस्करी में नक्सली भी शामिल हो सकते हैं, क्योंकि यह गांजा इन क्षेत्रों से ही प्रदेश के कई जिलों और देश के अन्य राज्यों में पहुंच रहा है। यह काला गांजा है, इसकी डिमांड भी काफी है।
यूरिया के कंटेनर में पकड़ाया था गांजा
नारकोटिक्स विंग की टीम ने इसलिए कुछ माहों में चार बड़ी कार्रवाई है कि यह सभी गांजा आंध्रप्रदेश और ओडिशा से इंदौर आया था। इसमें तीन ट्रक जब्त किए थे, वही एक कंटेनर पकड़ा था। इस कंटेनर में यूरिया की आड़ में गांजा लाया गया था, ताकि गांजे की खुशबू से पुलिस को चकमा दिया जा सके। इसके बाद नारकोटिक्स विंग की टीम आंध्रप्रदेश भी गई थी और कई तरह की जानकारियां लेकर लौटी थी। टीम को आंध्रप्रदेश पुलिस ने बताया था कि यह गांजा नक्सल प्रभावित क्षेत्रों से लाया जा रहा है।
कई एजेंसी कर रही हैं नक्सल कनेक्शन की जांच : आईजी
इस संबंध में नारकोटिक्स विंग के आईजी जीजी पांडे ने बताया कि नशे की रोकथाम के लिए बनी एजेंसियों की बैठक में यह बात सामने आई थी कि गांजे की तस्करी में नक्सली शामिल हो सकते हैं और इससे उनको मोटी कमाई हो रही है। इसके चलते अब एजेंसियां इसकी जांच में जुटी हैं, ताकि बड़ी कार्रवाई कर यह नेटवर्क तोड़ा जा सके।
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