
इंदौर। सरकार द्वारा शुरू किए गए राजस्व विभाग के महत्वपूर्ण पोर्टल वेब जीआईएस 2.0 तकनीकी खामियों के चलते नामांतरण, बंटवारा, डायवर्शन जैसे महत्वपूर्ण आवेदनों का निराकरण और अमल नहीं हो पा रहा है। इसके खिलाफ आज से पटवारी लामबंद हो गए हैं। तकनीकी खराबियों को दूर नहीं करने के कारण कलेक्टर से लेकर शासन की कार्रवाई का शिकार पटवारी वर्ग को होना पड़ रहा है। इसको लेकर आज से पटवारी काम बंद हड़ताल कर रहे हैं।
वेबजीआईएस 2.0 के माध्यम से काम ही नही हो पा रहे है। फार्मर रजिस्ट्री और ईकेवाईसी से लेकर नामांतरण, बंटांकन और अमल के लिए भी पटवारी पूरा दिन परेशान होते रहते हैं। यही नहीं खसरा नकल के लिए भी लंबा समय लग रहा है। एक माह से लगातार पोर्टल बंद होने, स्पीड स्लो होने के कारण आवेदक और पटवारी परेशान होते आ रहे हैं। पटवारी संघ के जिला अध्यक्ष मनोज परिहार ने बताया कि पोर्टल पर होने वाली कमियों के चलते सुधार के लिए संग्रह विभाग को ज्ञापन देकर अवगत कराने का प्रयास किया था, किंतु अभी तक उसमें सुधार नहीं हुआ है। इसलिए आज से सभी पटवारी वेब जीआईएस पर किसी भी तरह का काम नहीं करेंगे। हालांकि अन्य सभी कार्य पहले की तरह करते रहेंगे।
बाबू की मनमानी से पटवारियों का वेतन रुका
शासन में पटवारियों की हड़ताल अवधि को सेवा मानते हुए वेतन देने के निर्देश जारी कर दिए थे, किंतु इंदौर जिले में बाबू की लापरवाही और अनदेखी तीन तहसीलों के पटवारियों पर भारी पड़ी है। लगभग 100 पटवारी को अभी तक उक्त राशि का भुगतान नहीं किया गया है। हालांकि शेष पटवारी को वेतन का भुगतान समय पर कर दिया गया है। जिले की तीन तहसीलों के पटवारियों के मामले की जानकारी पूर्व में अधीक्षक भू अभिलेख और प्रभारी अधिकारी भू अभिलेख को दी जा चुकी है। पटवारी संघ जिला अध्यक्ष मनोज परिहार ने बताया कि उक्त समस्याओं को लेकर पटवारी जनसुनवाई में कलेक्टर के समक्ष अपनी परेशानी रखेंगे।
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