img-fluid

MP में लंपी वायरस से हड़कंप, दर्जनभर गायों के शरीर पर मिली गठानें-घाव, जांच के लिए भेजे सैंपल

August 05, 2022

रतलाम। मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh) के रतलाम (Ratlam) में गायों में लंपी वायरस के लक्षण मिलने से हड़कंप मच गई है। जिले में करीब एक दर्जन से ज्यादा गायों में लंपी वायरस (lumpy virus) के लक्षण मिले हैं। जानकारी के अनुसार रतलाम जिले के सेमलिया और बरबोदना (camellia and barbodna) के आसपास के गांवों में गाय के शरीर पर छोटी गठानें बनने के बाद घाव में बदल गए। फिलहाल पशु चिकित्सा विभाग (veterinary department) ने गायों में लंपी वायरस की पुष्टि नहीं की है। विभाग ने लक्षण (Symptoms) वाले पशुओं के सैंपल जांच के लिए भेजे हैं। पशुओं को आइसोलेट कर उनके उपचार की बात कही है।

लंपी वायरस को ऐसे पहचाने
पशु चिकित्सकों से मिली जानकारी के अनुसार लंपी वायरस की चपेट में आने पर पशु को बुखार आ जाता है। आंख एवं नाक से स्राव, मुंह से लार निकलती है, शरीर में गांठों जैसे नरम छाले पड़ जाते हैं। पशु दूध देना बंद कल देता है। गर्दन और सिर के पास गाठें दिखाई देती हैं। बीमारी पशुओं से मनुष्यों में नहीं फैलती है।



एक सप्ताह तक नहीं पता चलते लक्षण
राजस्थान (Rajasthan) में लंपी वायरस फैलने से हजारों की तादाद में गायों की मौत हो गई है। अब मध्यप्रदेश में इसकी दस्तक से दहशत का माहौल है। लंपी वायरल तेजी से फैलने के पीछे पशु चिकित्सकों (Veterinarians) का कहना है कि इस वायरस की चपेट में आने के बाद पशु में सात दिनों तक कोई लक्षण नहीं दिखते, यहीं वजह है कि वायरस तेजी से पशुओं में फैल रहा है। एक पशु में लक्षण होने पर यह दूसरे में फैल जाता है और संपर्क में आने से तेजी से पशु संक्रमित हो रहे हैं। विशेषज्ञों के अनुसार लंपी वायरस का कारण कैप्रिपॉक्स वायरस है। जब कोई जानवर कैप्रिपॉक्स वायरस (capripox virus) की चपेट में आता है तो वह धीरे धीरे कमजोर हो जाता है। खाना पीना छोड़ देता है। वायरस का असर पहले शरीर फिर खून और आखिर में दूध पर होता है।

मक्खी-मच्छर कर रहे ट्रांसमिट
लंपी वायरस तेजी से फैलने का एक कारण मच्छर और मक्खियों(mosquitoes and flies) को भी बताया जा रहा है। मक्खी मच्छर एक पशु से दूसरे पशु पर बैठते हैं, जब कोई पशु लंपी वायरस से संक्रमित होता है तो उसके शरीर की गाठों से सफेद पानी बहता है। मक्खी मच्छर इन्हीं गाठों पर बैठते है और फिर जाकर दूसरे पशु पर बैठ जाते हैं, जिससे लंपी वायरस एक से दूसरे में फैल रहा है।

Share:

  • गुजरात : खेत में जिंदा दफनाया गया था बच्चा, किसान ने हाथ देख निकाला मिट्टी से बाहर

    Fri Aug 5 , 2022
    अहमदाबाद । ‘जाको राखे साइयां मार सके न कोय’ ये कहावत गुजरात (Gujarat) के साबरकांठा (sabarkantha) में एकदम सही साबित हुई है. यहां एक बच्चे (Child) को खेत में जिंदा दफन कर दिया गया था, लेकिन उसे कुछ नहीं हुआ. न जानवरों ने उसे नुकसान पहुंचाया और न ही मिट्टी से दबाए जाने के बाद […]
    सम्बंधित ख़बरें
    लेटेस्ट
    खरी-खरी
    का राशिफल
    जीवनशैली
    मनोरंजन
    अभी-अभी
  • Archives

  • ©2025 Agnibaan , All Rights Reserved