
खंडवा। मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के खंडवा (Khandva) के सिहाड़ा गांव में वक्फ ट्रिब्यूनल (Waqf Tribunal) के नोटिस के बाद हलचल मची गई। गांव की जमीन को वक्फ संपत्ति बताने को लेकर मामला भोपाल तक पहुंच गया है। सरपंच प्रतिनिधि ने बताया कि उन्हें नोटिस मिला है। इस मामले में वक्फ ट्रिब्यूनल भोपाल ने 10 नवंबर को कलेक्टर और गांव के सरपंच-सचिव को बुलाया है।
इधर, पीर मौजा कमेटी और वक्फ बोर्ड कमेटी खंडवा का कहना है कि हमारा दावा सिर्फ हमारी संपत्ति पर है, हमने पूरे गांव पर दावा नहीं किया है। बल्कि दरगाह की जमीन पर अपना दावा किया है। मामला करीब दस हजार की आबादी वाला सिहाड़ा गांव का यह है। वक्फ ट्रिब्यूनल भोपाल ने कलेक्टर, सरपंच और सचिव को 10 नवंबर को सुनवाई के लिए तलब किया है।
दरअसल, ग्राम पंचायत ने कुछ समय पहले स्थानीय दरगाह के पास की फेंसिंग और अतिक्रमण हटाने का नोटिस जारी किया था। इसके जवाब में पीर मौजा सिहाड़ा कमेटी ने सीधे भोपाल वक्फ बोर्ड में शिकायत दर्ज करा दी। गांव के सरपंच प्रतिनिधि हेमंत सिंह चौहान ने कहा कि हमारे को जो नोटिस मिला, उसके अनुसार गांव की 14.0500 हेक्टेयर जमीन को वक्फ संपत्ति का दावा किया है। जबकि, पूरा गांव उसी खसरा नंबर में आता है। ग्राम पंचायत ने सिर्फ नियमों के तहत नोटिस दिया था।
वहीं, सिहाड़ा पीर मौजा कमेटी और वक्फ कमेटी जिला खंडवा का कहना है कि उन्होंने सिर्फ वह मौजूद दरगाह वाली जमीन पर हक जताया है, पूरा गांव उनका नहीं बताया गया है। अब मामला भोपाल वक्फ ट्रिब्यूनल में है। जहां 10 नवंबर को इस पूरे मामले पर सुनवाई होगी। गांव के लोग भी अब इस पर फैसले का इंतजार कर रहे हैं।
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