नई दिल्ली । भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (CPI) सांसद बिनॉय विश्वम (MP Binoy Vishwam) ने केंद्रीय रेल मंत्री (Union Railway Minister) अश्विनी वैष्णव (Ashvini Vaishnav) को पत्र लिखकर (Wrote a Letter) रेलवे में (In Railway) वरिष्ठ नागरिकों के लिए (For Senior Citizens) रियायत (Concession) बहाल करने की मांग की (Demanding) । सीपीआई नेता बिनॉय विश्वम ने कहा है कि कई वरिष्ठ नागरिक पूरे टिकट शुल्क का भुगतान करने की स्थिति में नहीं हैं।
उन्होंने रेल मंत्री को लिखे अपने पत्र में लिखा है, चूंकि कई वरिष्ठ नागरिक पूरे टिकट शुल्क का भुगतान करने की स्थिति में नहीं हैं, रियायत की कमी के कारण उन्हें बहुत कठिनाई होती है। इसलिए उन्हें शुल्क के भुगतान में रियायत दी जाए।’ उल्लेखनीय है कि कोरोना महामारी के दौरान ट्रेनों की टिकट पर अतिरिक्त किराया भी लगाया गया था, साथ ही पेन्ट्री की सेवाएं भी बंद कर दी गईं थीं। इन सभी सेवाओं को बहाल किया जा चुका है, लेकिन अब तक वरिष्ठ नागरिकों के लिए मिलने वाली रियायत को बहाल नहीं किया गया है। महामारी से पहले वरिष्ठ नागरिकों को 50 फीसदी की यात्रा टिकट में रियायत दी जाती थी। इसी तरह महिलाओं को 58 वर्ष की आयु के बाद यह रियायत दी जाती थी और पुरुषों को 60 वर्ष के बाद यात्रा में रियायत दी जाती थी। फिलहाल रेलवे की ओर से पिछले 2 सालों में इसे निलंबित कर दिया गया है।
रेल मंत्री वैष्णव ने कहा है कि रेलवे पहले से ही रियायती दर पर काम कर रही है। उन्होंने कहा, ‘परिचालन खर्चे के लिए खर्च किए गए प्रत्येक 100रुपए के लिए, रेलवे एक यात्री से केवल 45रुपए एकत्र करता है। हमें रेलवे को परिवहन का एक स्थायी साधन बनाए रखने में योगदान देना होगा।’ गौरतलब है कि पिछले दिनों सूचना के अधिकार कानून के तहत पूछे गए सवाल के जवाब में ये जानकारी निकलकर सामने आई है कि 20 मार्च 2020 से 31 मार्च 2022 के बीच रेलवे ने 7.31 करोड़ रुपए वरिष्ठ नागरिकों को यात्रा में रियायत ना देकर राजस्व अर्जित किया है।
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