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पाक में धूमधाम से मना हिंगलाज माता महोत्सव, कोविड के बाद पहली बार शामिल हुए भारतीय हिंदू

कराची (Karachi) । पाकिस्तान (Pakistan) के अशांत बलूचिस्तान प्रांत (Balochistan Province) में विश्व प्रसिद्ध वार्षिक हिंगलाज माता महोत्सव (Annual Hinglaj Mata Festival) धूमधाम से मनाया गया। सोमवार को संपन्न हुए सदियों पुराने इस धार्मिक महोत्सव में पाकिस्तान और भारत के साथ अन्य देशों के श्रद्धालुओं ने भाग लिया। वहीं, कोविड-19 महामारी के बाद पहली बार भारतीय हिंदू इस महोत्सव में शामिल हुए।

बलूचिस्तान प्रांत के लासबेला जिले के कुंड मालीर क्षेत्र में स्थित प्राचीन हिंगलाज माता मंदिर को हिंदू सभ्यता के सबसे बड़े तीर्थ स्थलों में से एक माना जाता है। यह दुनिया भर के पांच प्राचीन हिंदू मंदिरों में शुमार है। हिंदू देवी सती को समर्पित हिंगलाज मंदिर 51 शक्तिपीठों में से एक है।

बलूचिस्तान के सीनेटर दिनेश कुमार ने कहा कि पिछले साल की तरह इस साल भी बड़ी संख्या में हिंदू तीर्थयात्री उत्सव में शामिल होने के लिए यहां पहुंचे, क्योंकि कोविड महामारी के कारण दो साल तक यह उत्सव आयोजित नहीं किया गया था। उन्होंने कहा कि इस तीन दिवसीय धार्मिक उत्सव में शामिल होने के लिए दूसरे देशों से सैकड़ों हिंदू आते हैं।


कुमार ने कहा कि मकरान तटीय राजमार्ग के बनने के बाद अब इस ऐतिहासिक मंदिर तक आसानी से पहुंचा जा सकता है। पहले श्रद्धालुओं को मंदिर तक पहुंचने में काफी मुश्किल होती थी, क्योंकि यह किरथर पर्वत श्रृंखला की तलहटी में है। उन्होंने कहा कि बहुत से भक्त नंगे पांव पहाड़ों पर चढ़कर मंदिर तक जाना पसंद करते हैं क्योंकि उनका मानना है कि मंदिर तक पहुंचने के लिए उन्हें जितना अधिक दर्द सहना होगा, उन्हें हिंगलाज माता उनकी मनोकामन पूरी करती हैं।

1,000 सुरक्षा कर्मियों की तैनाती की गई थी
उन्होंने आगे कहा कि बलूचिस्तान सरकार ने तीर्थयात्रियों को सुरक्षा प्रदान करने के लिए कम से कम 1,000 सुरक्षा पुलिस कर्मियों और फ्रंटियर कोर की तैनाती की थी। वार्षिक हिंगलाज माता उत्सव सोमवार को संपन्न हो गया। वहीं, बलूचिस्तान के अल्पसंख्यक मंत्री खलील जॉर्ज ने मीडिया को बताया कि सरकार ने हिंगलाज माता मंदिर में सभी बुनियादी सुविधाएं प्रदान करने के लिए 300 मिलियन रुपये खर्च किए। तीर्थयात्रियों की सुरक्षा के लिए मंदिर में सीसीटीवी कैमरे भी लगाए गए थे।

निकाह के बाद पति के साथ शिव मंदिर पहुंचीं बेनजीर की भतीजी
उधर, पाकिस्तान की पूर्व प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो की भतीजी फातिमा भुट्टो ने निकाह के बाद हिंदू मंदिर जाकर एक नई मिसाल की कायम की है। सोशल मीडिया पर लोग उनके इस कदम की तारीफ कर रहे हैं, कुछ कट्टरपंथी आलोचना भी कर रहे हैं। पूर्व प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो के भाई दिवंगत मुर्तजा भुट्टो की बेटी फातिमा (40) ने कराची में अपने दादा जुलि्फकार अली भुट्टो की लाइब्रेरी में ग्राहम जिब्रान के साथ शुक्रवार को निकाह किया था। अपने पति के साथ फातिमा ने शिवलिंग पर जलाभिषेक भी किया।

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