
नई दिल्ली। गर्मियों के मौसम में हर तरफ आम (Mango) नजर आते हैं. मीठे और रसीले आम (sweet and juicy mango) खाना हर किसी को पसंद होता है. आम में फाइबर(fiber), विटामिन(vitamins) C, A और कई सारे मिनरल्स(minerals) पाए जाते हैं. आम में कई सारे एंटीऑक्सीडेंट (Antioxidants) भी पाए जाते हैं. आम खाने से शरीर को कई तरह के फायदे मिलते हैं लेकिन आजकल बाजार में बिकने वाले कुछ आमों में ऐसे जहरीले केमिकल भी पाए जाते हैं जो शरीर के लिए बहुत हानिकारक होते हैं.
कुछ फलों को नकली तरीके से पकाया जाता है और इन्हें नेचुरल और ताजा बनाकर बेचा जाता है. अगर आप ऐसा आम खा रहे हैं जिसमें जूस नहीं है तो हो सकता है ये आम भी नकली तरीके से पकाया गया हो. बाजार में आम की कमी और लोगों की ज्यादा मांग को देखते हुए, पूरे भारत में आमों का कृत्रिम रूप से पकाने का चलन तेजी से बढ़ रहा है.
ऐसे करे जांच
आप जो आम खा रहे हैं वो नेचुरल है या नकली तरीके से पकाया गया है, इसकी पहचान आसानी से की जा सकती है. सारे आमों को एक बाल्टी पानी में डाल दें. अगर आम डूब जाते हैं, तो वे स्वाभाविक रूप से पके हुए होते हैं. अगर वे तैरते हैं, तो मतलब इन्हें कृत्रिम रूप से पकाया गया है. कृत्रिम रूप से पके आम में बहुत कम या कोई रस नहीं होता है. नकली तरीके से पके आम खाने से कुछ लोगों को पेट में जलन भी होने लगती है. इसके अलावा और भी तरीकों से इसकी जांच की जा सकती है.
इसके अलावा कृत्रिम रूप से पके आम में हरे रंग के धब्बे होने की संभावना होती है. ये पैच पीले रंग वाले आम से अलग होते हैं. नकली तरीके से पके आम खाने में मुंह में हल्की जलन, पेट में दर्द और दस्त का अनुभव हो सकता है.
आम के रस के जरिए भी असली-नकली की पहचान की जा सकती है. नेचुरल और अच्छी तरह से पके हुए आम में बहुत सारा रस होता है. जबकि कृत्रिम रूप से पके आम में बहुत कम या बिल्कुल भी रस नहीं होता है. इन कुछ तरीकों से आप असली-नकली फल और सब्जियों की पहचान कर सकते हैं.
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