
नई दिल्ली: भारत के मंदिरों (temples of india) और देवी-देवताओं से जुड़े चमत्कारों की कहानियां (stories of miracles) हम बचपन से ही सुनते आ रहे हैं. भारत के कुछ ऐसे भी मंदिर है जहां कुछ ऐसी घटनाएं होती हैं जिनको देख लोगों की आंखें खुली रह जाती हैं. इन मंदिरों में होने वाली इन घटनाओं पर बहुत से वैज्ञानिकों ने शोध भी किए (scientists did research) लेकिन कोई भी गुत्थी सुलझाने में कामयाब नहीं हो पाया है. ऐसा ही एक मंदिर है तेलंगाना (Telangana) में स्थित छाया सोमेश्वर मंदिर (Chaya Someshwar Temple). इस मंदिर में एक ऐसी रहस्यमयी छाया दिखाई देती है जिसका कोई आधार वहां मौजूद नहीं है.
तेलंगाना में स्थित छाया सोमेश्वर मंदिर में और भी देवताओं की मूर्तियां है लेकिन भगवान शिव के मंदिर में स्थित शिवलिंग पर दिनभर एक वस्तु की छाया पड़ती है जो हकीकत में है ही नहीं. यहां शिवलिंग पर पूरे दिन एक पिलर की छाया पड़ती है लेकिन बताया जाता है कि शिवलिंग के आस-पास ऐसा कोई पिलर है ही नहीं, इस रहस्यमयी छाया के कारण ही इस मंदिर का नाम छाया सोमेश्वर मंदिर है. यहां प्रश्न यह उठते हैं कि यह छाया किसकी है? पिलर नहीं है तो छाया कैसे बनती है? इन सवालों का जवाब आज तक नहीं मिला है. वैज्ञानिकों के लंबे शोध भी इस रहस्य को नहीं सुलझा पाए हैं.
भारत के तेलंगाना में स्थित छाया सोमेश्वर मंदिर हैं जो कि एक शैव हिंदू मंदिर है इस मंदिर में भगवान शिव, विष्णु जी और ब्रह्मा जी की पूजा की जाती है. तीनों देवताओं के मंदिर यहां अलग-अलग स्थान पर बने हुए हैं और तीनों मंदिरों के द्वार विपरीत दिशा में है. तीनों ही देवताओं की मूर्तियों में अद्भुत वास्तुकला देखने को मिलती है. इस मंदिर की वास्तुकला भी मंदिर का आकर्षण केंद्र मानी जाती है.
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