नई दिल्ली । इफको (IFFCO) और इंडियन पोटाश लिमिटेड (IPL) और इसके निदेशकों के खिलाफ (Against its Directors) चल रही जांच में, प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने व्यवसायी (Businessman) संजय जैन (Sanjay Jain) को पीएमएलए मामले में (In PMLA Case) गिरफ्तार किया (Arrested) । जैन को विशेष पीएमएलए कोर्ट में पेश किया गया, जिसने उन्हें ईडी की हिरासत में भेज दिया।
ईडी को जांच में यह भी पता चला है कि संजय जैन ने भारत में अवैध तरीके से 37.12 करोड़ रुपये और 6.18 मिलियन अमेरिकी डॉलर की राशि प्राप्त की। इससे पहले प्रवर्तन निदेशालय ने जैन के बिजनेस पार्टनर ए.डी. सिंह और आलोक कुमार अग्रवाल को गिरफ्तार किया था, जिनके साथ उसके व्यापारिक संबंध थे। सिंह को दुबई से भी अवैध तरीके से 27.79 करोड़ रुपये मिले थे। जैन और सिंह दोनों ने भारत में अपराध की आय प्राप्त करने के लिए अग्रवाल द्वारा प्रदान किए गए वाहन का उपयोग किया। ईडी ने 2021 में छह आरोपियों के खिलाफ एक विशेष अदालत के समक्ष अभियोजन शिकायत भी दायर की थी।
ईडी ने विभिन्न संदिग्धों के खिलाफ सीबीआई की एफआईआर के आधार पर मनी लॉन्ड्रिंग जांच शुरू की, जिसमें उदय शंकर अवस्थी, इफको के एमडी पंकज जैन, रेयर अर्थ ग्रुप और ज्योति ट्रेडिंग कॉरपोरेशन के प्रमोटर अमरेंद्र धारी सिंह और अन्य शामिल हैं। सीबीआई ने उन पर आपराधिक साजिश रचने, धोखाधड़ी और आपराधिक दुराचार का आरोप लगाया है।
ईडी को जांच में पता चला कि अवस्थी और इफको के अन्य लोगों ने गलत तरीके से पैसे कमाए और इसे विभिन्न असंबंधित संस्थाओं के माध्यम से खुद की संस्थाओं में ट्रांसफर कर दिया। आरोपों में विदेशी आपूर्तिकर्ताओं से भारत के बाहर पंजीकृत कई संस्थाओं (आरोपी व्यक्तियों द्वारा नियंत्रित) से धोखाधड़ी वाले लेनदेन को छिपाने के लिए अवैध कमीशन प्राप्त करना शामिल है।
ईडी ने कहा, अवस्थी (अमोल अवस्थी और अनुपम अवस्थी के पिता) और परविंदर सिंह गहलोत (विवेक गहलोत के पिता) इफको के प्रबंध निदेशक और आईपीएल के निदेशक यू.एस. अवस्थी और आईपीएल के प्रबंध निदेशक परविंदर सिंह गहलोत फर्टिलाइजर इंडस्ट्री में काफी प्रभाव रखते हैं। आरोप है कि भुगतान के जरिए बड़ी धोखाधड़ी को अंजाम दिया गया।
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