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Operation Dunki: नेपाल में मानव तस्करी रैकेट का भंडाफोड़, 8 सदस्य गिरफ्तार, 11 भारतीय बंधकों को बचाया

नई दिल्‍ली (New Dehli)। नेपाल पुलिस ने एक मानव तस्करों के रैकेट (human trafficking rackets)का भंडाफोड़ कर 11 भारतीयों को बचाया (saved the indians)गया, जिनमें अधिकतर छात्र (most students)शामिल थे। पुलिस की इस कार्रवाई में आठ भारतीय माफिया (indian mafia)सदस्यों को नेपाली साथी के साथ गिरफ्तार किया गया। बताया जा रहा है कि इस गिरोह ने 11 भारतीय नागरिकों को अमेरिका भेजने का झूठा सपना दिखाकर दो सप्ताह से अधिक समय तक बंधक बनाकर रखा था।

इसे नेपाल पुलिस ने ‘ऑपरेशन डंकी’ का नाम दिया, क्योंकि यह मामला लोकप्रिय भारतीय अभिनेता शाहरुख खान की 2023 की फिल्म डंकी में दिखाई गई स्थिति के समान था। बचाए गए नागिरक और माफिया सदस्य ज्यादातर भारतीय राज्यों पंजाब और हरियाणा से आए थे।


14 फरवरी से चलाया गया अभियान

काठमांडू जिला पुलिस रेंज टीम ने बुधवार रात से अभियान चलाया और तड़के तक छापेमारी जारी रही। गुप्त सूचना के आधार पर कार्रवाई करते हुए धोबीखोला कॉरिडोर, रातोपुल में एक नेपाली नागरिक के निजी आवास पर छापा मारा गया। इस दौरान 11 भारतीय नागरिकों को बचाया, जिन्हें मेक्सिको के रास्ते अमेरिका भेजने के बहाने बंधक बना लिया गया था।

ज्यादातर छात्रों से अमेरिका भेजने का झूठा वादा किया

जिला पुलिस प्रमुख वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक भूपेन्द्र बहादुर खत्री ने प्रेस वार्ता में बताया कि भारतीय माफिया के सदस्यों सहित एजेंटों ने भारतीय नागरिकों, ज्यादातर छात्रों से अमेरिका भेजने का झूठा वादा किया। उन्होंने प्रति व्यक्ति 4.5 मिलियन रुपये का शुल्क लिया और काठमांडू में उनके आगमन पर वीजा शुल्क के रूप में अतिरिक्त तीन हजार अमेरिकी डॉलर का शुल्क लिया। फिलहाल, पकड़े गए सभी आरोपियों के खिलाफ नेपाली कानून के अनुसार अपहरण, बंधक बनाने और मानव तस्करी से संबंधित धाराओं के तहत मामले दर्ज किए जाएंगे।

चाकू की नोक पर परिजनों को करवाया आश्वस्त

वहीं पीड़ितों में से एक ने बताया, ‘हममें से कुछ को चाकू की नोक पर भारत में अपने परिवार से संपर्क करने के लिए कहा गया ताकि उन्हें आश्वस्त किया जा सके कि हम सुरक्षित हैं और यूएसए जा रहे हैं।’

खत्री ने आगे बताया कि बंधकों को दो सप्ताह से अधिक समय तक किराए के घर में रखा गया था। उन्हें मानसिक और शारीरिक रूप से प्रताड़ित किया गया, धमकाया गया। वीजा और बोर्डिंग पास सहित सभी दस्तावेज जाली थे, जबकि पुलिस ने साइट से नकली रबर स्टांप और अन्य जाली दस्तावेजों के साथ पीड़ितों के पासपोर्ट भी बरामद किए हैं।

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