प्रयागराज, 03 अगस्त । इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मुख्य वन संरक्षक मेरठ मंडल नरेश कुमार जानू को अवमानना का नोटिस जारी किया है। उनको हाईकोर्ट के आदेश का पालन करने के लिए एक और अवसर दिया गया है। ऐसा नहीं करने पर नरेश कुमार को अदालत में उपस्थित होकर स्पष्टीकरण देना होगा।
अलकेश कुमार की अवमानना याचिका पर यह आदेश न्यायमूर्ति जेजे मुनीर ने दिया है। याची के अधिवक्ता वेदकांत मिश्र का कहना था कि याची के पिता फॉरेस्ट गार्ड के पद पर थे। 2010 में सेवा काल में उनकी मृत्यु हो गई। उस समय याची सिर्फ 12 साल का था। वयस्क होने पर उसने अनुकंपा के आधार पर नौकरी देने के लिए आवेदन किया। मगर विभाग ने उस पर कोई निर्णय नहीं लिया तो हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की गई।
हाईकोर्ट ने 25 सितंबर 2019 को मुख्य संरक्षक को अनुकंपा नियुक्ति पर चार माह में निर्णय लेने का आदेश दिया था। इस आदेश के बावजूद याची के प्रत्यावेदन पर कोई निर्णय नहीं लिया जा रहा है। इसलिए अवमानना याचिका दाखिल की गई है। हाईकोर्ट ने कहा है कि इस मामले की सुनवाई की अगली तिथि तक यदि आदेश का पालन कर दिया जाता है तो मुख्य वन संरक्षक को हाजिर नहीं होना पड़ेगा अन्यथा वह उपस्थित होकर स्पष्टीकरण दें।
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