हल्द्वानी: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने अगले साल उत्तराखंड में होने वाले विधान सभा चुनाव से पहले राज्य को कई सौगात दी. उन्होंने उत्तराखंड में 17500 करोड़ रुपये से अधिक की लागत वाली छह परियोजनाओं का उद्घाटन और लखवाड़ बहुउद्देश्यीय परियोजना सहित 17 परियोजनाओं का शिलान्यास किया.
इसके बाद कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि यह उत्तराखंड का दशक है और मैं जानता हूं कि उत्तराखंड की शक्ति क्या है. उत्तराखंड में बढ़ रहा आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर, चार धाम महापरियोजना, नए बन रहे रेल रूट्स, इस दशक को उत्तराखंड का दशक बनाएंगे.
पीएम मोदी ने इन परियोजनाओं का किया उद्घाटन-शिलान्यास
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने जिन परियोजनाओं का उद्घाटन किया, उनमें सड़क चौड़ीकरण परियोजनाएं, पिथौरागढ़ में एक पनबिजली परियोजना और नैनीताल में सीवरेज नेटवर्क शामिल हैं. इन परियोजनाओं की कुल लागत 3,400 करोड़ रुपये है.
पीएम मोदी ने जिन परियोजनाओं का शिलान्यास किया उनमें सिंचाई, सड़क, आवासीय, स्वास्थ्य ढांचा, उद्योग, स्वच्छता, पेयजल आपूर्ति सहित कई क्षेत्रों से संबंधित 17 परियोजनाएं शामिल हैं और इनकी कुल लागत 14,100 करोड़ रुपये है.
प्रधानमंत्री ने लगभग 5750 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाली और वर्षों से लंबित लखवाड़ बहुउद्देशीय परियोजना की आधारशिला रखी और 8700 करोड़ रुपये की कई सड़क परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया.
कुमाऊं आने पर कई पुरानी यादें ताजा हुईं: पीएम मोदी
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा, ‘आज यहां 17,000 करोड़ रुपये से भी अधिक के विकास कार्यों का लोकार्पण और शिलान्यास हुआ है. ये सभी प्रोजेक्ट्स कुमाऊं के सभी साथियों को बेहतर कनेक्टिविटी और बेहतर सुविधाएं देने वाले हैं. आज कुमाऊं आने का सौभाग्य मिला तो कई पुरानी यादें ताजा हो गईं हैं. ये इतनी आत्मीयता से आपने जो उत्तराखंडी टोपी मुझे पहनाई गई है, वो उसे पहनकर मुझे गर्व का अनुभव हो रहा है.’
‘हल्द्वानी के लिए लेकर आ रहे हैं 2000 करोड़ के प्रोजेक्ट’
पीएम मोदी ने कहा, ‘हल्द्वानी शहर के ओवरऑल इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास के लिए हम लगभग 2,000 करोड़ रुपये की योजना लेकर आ रहे हैं. अब हल्द्वानी में पानी, सीवरेज, सड़क, पार्किंग, स्ट्रीट लाइट सभी जगह पर अभूतपूर्व सुधार होगा. इस दशक को उत्तराखंड का दशक बनाने के लिए तेज गति से ऐसे ही विकास कार्यों पर अनेक काम करने की जरूरत पर हमने जोर दिया है.
उत्तराखंड में बढ़ रहे नए हाइड्रो प्रोजेक्ट्स, उत्तराखंड में बढ़ रही औद्योगिक क्षमता, इस दशक को उत्तराखंड का दशक बनाएगी.’ उन्होंने कहा, ‘उत्तराखंड से कितनी ही नदियां निकलती हैं. आजादी के बाद से ही, यहां के लोगों ने दो धाराएं और देखी हैं. एक धारा है- पहाड़ को विकास से वंचित रखने की. और र दूसरी धारा है- पहाड़ के विकास के लिए दिन रात एक कर देने की.
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